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CJI दीपक मिश्रा ने प्रेस कॉन्फ्रेंस करने वाले चारों जजों की बैठक बुलाई
बीते शुक्रवार को सुप्रीम कोर्ट के 4 वरिष्ठतम जजों ने चीफ जस्टिस दीपक मिश्रा के काम करने के तरीके पर सवाल उठाया था और अपनी बात रखने के लिए मीडिया से मुखातिब हुए थे.
नई दिल्ली: सुप्रीम कोर्ट के जजों का विवाद अब थमता नज़र आ रहा है. आज चीफ जस्टिस दीपक मिश्रा ने 12 जनवरी को प्रेस कॉन्फ्रेंस करने वाले चारों जजों की बैठक बुलाई है. बता दें कि प्रेस कॉन्फ्रेंस करने वाले जजों में वरिष्ठ जज जस्टिस जे. चेलमेश्वर, रंजन गोगोई, मदन बी लोकुर और कूरियन जोज़ेफ़ शामिल थे. इन चारों जजों ने सुप्रीम कोर्ट में सबकुछ सही नहीं होने की बात कही थी.
बता दें कि दो दिन पहले सुप्रीम कोर्ट के चीफ जस्टिस दीपक मिश्रा ने पांच जजों की संवैधानिक पीठ बनाई थी. बड़ी बात यह है कि इस पीठ में प्रेस कॉन्फ्रेंस करने वाले चारों जजों को शामिल नहीं किया गया था. ये संवैधानिक पीठ आधार एक्ट की वैधता जैसे कई अहम मामलों की सुनवाई कर रही है.
कहां से शुरु हुआ विवाद?
बीते शुक्रवार को सुप्रीम कोर्ट के 4 वरिष्ठतम जजों ने चीफ जस्टिस दीपक मिश्रा के काम करने के तरीके पर सवाल उठाया था और अपनी बात रखने के लिए मीडिया से मुखातिब हुए थे. इन जजों ने अपनी चिट्ठी में दीपक मिश्रा के मनमाने ढ़ंग से काम करने के रवैया पर अपनी नाराज़गी जताई थी. इन जजों का ये भी कहना था कि अगर वो आज खामोश रहे तो 20 साल बाद उन्हें कोई ये कह दे कि उन्होंने अपनी आत्म बेच दी.
इन न्यायाधीशों ने लोकतंत्र के खतरे में होने के प्रति आगाह करते हुये मुकदमों को ‘चुनकर ’ आबंटित करने और न्यायमूर्ति मिश्रा के चुनिन्दा न्यायिक आदेशों पर सवाल उठाते हुये न्यायालिका और राजनीतितक हलके में सनसनी पैदा कर दी थी. इस समय सुप्रीम कोर्ट में प्रधान न्यायाधीश सहित 25 न्यायाधीश हैं.
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तहसीन मुनव्वरवरिष्ठ पत्रकार
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