नई दिल्ली: मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने कहा कि जिनके हाथ दंगों व देश की अखंडता को खंडित करने में था वे आज नये स्वरूप में देश की एकता व अखंडता को नुकसान पहुंचाने का प्रयास कर रहे हैं. उन्होंने साथ ही अपराधियों को चेतावनी दी कि जो कानून को चुनौती देगा, वह कैसी यात्रा पर जाना चाहता है तय कर ले.


मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ शनिवार की शाम इंदिरापुरम के शक्ति खंड में 132 करोड़ रुपये की लागत से निर्मित कैलाश मानसरोवर भवन का लोकार्पण करने के बाद सभा को संबोधित कर रहे थे. मुख्यमंत्री आज मुरादाबाद में कई कार्यक्रमों में शामिल होने के बाद जब गाजियाबाद के लिए चले तो हैलीकाप्टर के पायलट ने कहा कि मौसम खराब होने के कारण हैलीकाप्टर नहीं उड़ सकता. इस पर कैलाश मानसरोवर भवन के लोकार्पण कार्यक्रम के स्थगित होने की बात कही जा रही थी. लेकिन मैंने कहा कि मेरी डिक्शनरी में ना शब्द नहीं है. मैं जाऊंगा व लोकार्पण करुंगा. इसके बाद सड़क मार्ग से वे गाजियाबाद पहुंचे.


मंच से उन्होंने किसान आंदोलन का नाम लिए बगैर इस आंदोलन के सहारे देश की अखंडता को खंडित करने का प्रयास करने वाले तत्वों को आड़े हाथों लिया. उन्होंने कहा भारत आस्था का देश है. लेकिन आस्था एवं अखंडता को खंडित करने के लिए दंगे व अराजकता फैलाने वाले एक नये स्वरूप में प्रयास कर रहे हैं. लेकिन अराजकता, अव्यवस्था एवं देश की अखंडता को खंडित करने की छूट किसी को नहीं दी जा सकती.


मुख्यमंत्री ने इसके साथ ही अपराधियों को गाजियाबाद के मंच से फिर चेतावनी दी. उन्होंने कहा पहले गुंडे चलते थे, तो प्रशासन रास्ता साफ करने में लगता था. पुलिस मुंह छुपाकर भागती थी. अब वहीं सरकार है, वहीं प्रशासन है. पुलिस सड़क पर निकलती है तो अपराधी गले में तख्ती लटका कर जान की भीख मांगते दिखाई देते हैं. तंत्र वहीं है, केवल शासन बदला है. उन्होंने चेतावनी दी कि जो कानून को हाथ में लेने का प्रयास करेगा, कानून को बंधक बनाने का प्रयास करेगा, वह किस यात्रा पर जाना चाहेगा यह सोच ले. क्योंकि, उत्तर प्रदेश में तो अनेक यात्राएं निकलती हैं. उन्होंने कहा कि यूपी की कानून व्यवस्था का अन्य राज्यों के लोग भी लोहा मानते हैं.


योगी आदित्यनाथ ने इसके साथ ही कहा कि कैलाश मानसरोवर यात्रा भवन के निर्माण में लगातार रोड़े अटकाये गये. जबकि हज हाऊस का निर्माण कानून को ताक पर रखकर एवं एनजीटी के नियमों को दरकिनार कर किया गया. हम कैलाश मानसरोवर भवन के निर्माण में हज हाऊस जैसी स्थिति नहीं होने देना चाहते थे. लोगों को चिढ़ है कि यूपी में सभी काम क्यों हो रहे हैं. विकास क्यों हो रहा है. जबकि सदियों से जो काम नहीं हुए उन्हें होते देख कर देश प्रफुल्लित है. जिन्हें भारत की खुशहाली, युवाओं व किसानों के चेहरे पर हंसी अच्छी नहीं लगती वे देश के खिलाफ षड़यंत्र रचने में लगते हैं.


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