Congress On Dhirendra Shastri: बागेश्वर धाम के पीठाधीश्वर धीरेंद्र कृष्ण शास्त्री इन दिनों विवादों में फंसे हुए हैं. धीरेंद्र शास्त्री पर अंधविश्वास को फैलाने और बढ़ावा देने का आरोप लगा है. उनके खिलाफ पुलिस में शिकायत भी हुई है. वहीं अब मध्य प्रदेश और छत्तीसगढ़ में कांग्रेस के नेताओं ने धीरेंद्र शास्त्री को चुनौती दी है. मध्य प्रदेश विधानसभा में नेता प्रतिपक्ष डॉ. गोविंद सिंह ने कहा कि धीरेंद्र शास्त्री को अपनी शक्तियों को प्रमाणित करना होगा.


डॉ. गोविंद सिंह ने निशाना साधते हुए कहा कि जब बागेश्वर सरकार पर आरोप लगे तो वे अपना बिस्तर लेकर क्यों भागे, अगर उनके पास चमत्कारी शक्तियां हैं तो उन्हें प्रमाणित करें. उन्होंने कहा, "सनातन धर्म में विश्वास करते हैं, लेकिन पाखंड और ढोंग में उनका भरोसा नहीं है. देश में हिंदुओं की बड़ी तादाद है. वे भी पाखंड को ठीक नहीं मानते."


'अगर सच्चाई है तो जवाब दें'


नेता प्रतिपक्ष ने आगे कहा, "जब बाबा को नागपुर की अंधविश्वास उन्मूलन समिति ने शक्तियां प्रमाणित करने की चुनौती दी तो वे वहां से क्यों भाग गए? अगर उनमें सच्चाई है तो जवाब दें. प्रामाणिकता के आधार पर जवाब दें. तांत्रिक जैसी प्रथा को प्रचारित कर रखा है, उसे प्रमाणित करें."


कैबिनेट मंत्री की बाबा को चुनौती


नागपुर, मध्य प्रदेश के बाद छत्तीसगढ़ में भी बागेश्वर धाम के पीठाधीश्वर धीरेंद्र शास्त्री को चुनौती मिली है. कैबिनेट मंत्री कवासी लखमा ने कहा है कि बाबा मेरे साथ बस्तर चलें. अगर कल-परसों में धर्मांतरण हो रहा है तो मैं राजनीति छोड़ दूंगा और अगर नहीं हो रहा है तो वो पंडिताई छोड़ें.


बाबा ने उठाया था धर्मांतरण का मुद्दा


दरअसल, धीरेंद्र कृष्ण शास्त्री ने 18 जनवरी को रायपुर में प्रेस कॉन्फ्रेंस कर धर्मांतरण को लेकर बयान दिया था. उन्होंने कहा कि जहां-जहां धर्मांतरण हो रहा है वो वहां रामकथा सुनाने जा रहे हैं. शास्त्री ने दावा किया कि उन्होंने धर्मांतरण रोकने का संकल्प लिया है. 


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