नई दिल्ली: कांग्रेस नेता शशि थरूर ने जम्मू-कश्मीर में संचार पर लगी पाबंदियां हटाने के विषय में अमेरिकी संसद में पेश एक प्रस्ताव के बाद एक अमेरिकी सांसद की तारीफ की. इस प्रस्ताव की सराहना करने पर कुछ बीजेपी के नेताओं ने उनकी आलोचना की. हालांकि थरूर ने इसका जवाब देते हुए कहा कि जब भी बीजेपी ऐसी नीतियां अपनाती हैं जिसका वह बचाव नहीं कर सकती तो वह ‘राष्ट्रीय हित’ के नाम पर बचने की कोशिश करती है.
भारतीय मूल की अमेरिकी सांसद प्रमिला जयपाल ने अमेरिकी संसद में एक प्रस्ताव लाकर भारत से मांग की थी कि वह जम्मू कश्मीर में संचार पर लगी पाबंदियां जल्द से जल्द हटाए और सभी निवासियों के लिए धार्मिक स्वतंत्रता बहाल करे. वहीं इसी विषय पर थरूर ने ट्वीट कर कहा, “अमेरिकी संसद के प्रस्ताव में कहा गया है कि जम्मू कश्मीर में इंटरनेट बहाल करें, लोगों को हिरासत में लेना बंद करें. ये अमेरिकी प्रतिनिधियों का सराहनीय कदम है जबकि हमारी संसद में हम पूरे शीतकालीन सत्र में कश्मीर के विषय पर चर्चा भी नहीं कर सकते. शर्म आनी चाहिए”.
वहीं बीजेपी की सांसद शोभा करंदलाजे और तेजस्वी सूर्या ने थरूर के इस बयान की कड़ी निंदा की. करंदलाजे ने ट्वीट कर कहा, “अमेरिका द्वारा भारत के आतंरिक मामलों में दखलंदाजी करने की सराहना करने पर आपको शर्म आनी चाहिए. पहली बार जम्मू कश्मीर में लोग बहुत कम आतंकी गतिविधियां देख रहे हैं और लोग सुरक्षित महसूस कर रहे हैं, लेकिन कांग्रेस भारत के आतंरिक मामलों पर राजनीति करने और देश को बदनाम करने का मौका कभी नहीं चूकती.”.
बीजेपी सांसद तेजस्वी सूर्या ने ट्वीट कर कहा कि यह निराशाजनक है कि डॉ शशि थरूर ने कई बार विदेश में भारतीय हितों का बचाव किया है. वह आज अमेरिका द्वारा भारत के आतंरिक मामलों में हस्तक्षेप की सराहना कर रहे हैं. जवाब ने थरूर ने कहा कि बीजेपी ने ट्वीट का गलत मतलब निकाला है. जिस पर मुझे हंसी आ रही है.
उन्होंने एक दूसरे ट्वीट में कहा, “जब भी बीजेपी ऐसी नीतियों को अपनाती है जिसका वह बचाव नहीं कर सकती तो वह राष्ट्रीय हित के पीछे छिप जाती है, जैसे कि उसे मिले 37 प्रतिशत वोटों ने हमारे राष्ट्रीय हित को परिभाषित करने का उसे अनन्य अधिकार दे दिया हो. लोकतंत्र में चर्चा करने की जरूरत होती है जिससे हमारी संसद चलाने वाले बचना चाहते हैं”.
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