कांग्रेस स्टीयरिंग कमेटी की बैठक में खरगे ने नेताओं से मांगी रिपोर्ट, कहा- 'नफरत के खिलाफ लड़ना ही हमारा कर्तव्य'
Congress Steering Committee Meeting: रगे ने पदाधिकारों से पूछा कि आपके प्रदेश में, जिसके आप प्रभारी हैं, अगले 30 दिन से 90 दिन के बीच में संगठन और जनहित के मुद्दों पर आंदोलन के लिए क्या रूपरेखा है?
Congress Steering Committee Meeting: गुजरात और हिमाचल विधानसभा चुनाव के बाद अब राजनीतिक दलों ने 2024 लोकसभा चुनाव की तैयारियां शुरू कर दी हैं. इसी के तहत कांग्रेस की स्टीयरिंग कमेटी की बैठक बुलाई गई. मल्लिकार्जुन खरगे (Mallikarjun Kharge) की अध्यक्षता में इस बैठक की शुरुआत हुई, जिसमें सोनिया गांधी, अशोक गहलोत, भूपेश बघेल समेत पार्टी के तमाम बड़े नेता शामिल हुए. इस दौरान कांग्रेस अध्यक्ष खरगे ने सभी नेताओं को संबोधित किया और तमाम मुद्दों पर अपनी बात रखी.
बैठक की शुरुआत करते हुए खरगे ने कहा, "मैं स्टीयरिंग कमिटी की पहली बैठक में आप सबका स्वागत करता हूं. पूरे देश में भारतीय राष्ट्रीय कांग्रेस के सभी साथियों का भी धन्यवाद करता हूं, जिन्होंने कांग्रेस अध्यक्ष पद के लिए मुझमें विश्वास जताया.
खरगे ने पदाधिकारों से पूछे ये सवाल
इस दौरान मल्लिकार्जुन खरगे ने सभी महासचिवों और प्रभारियों से पूछा कि जमीनी स्तर पर क्या-क्या बदलाव किए गए हैं. उन्होंने पूछा- क्या महासचिव और प्रभारी, पदाधिकारी अपने जिम्मेदारी वाले प्रांतों में महीने में कम से कम 10 दिन दौरा करते हैं? क्या आपने हर जिला, इकाई पर जाकर पार्टी के नेताओं से चर्चा की है, क्या स्थानीय समस्याएं जानी हैं? क्या सभी जिला कांग्रेस व ब्लॉक कांग्रेस कमिटी का गठन हो चुका है? क्या आपकी संगठन जमीनी हकीकत के मुताबिक लोगों के लिए संघर्ष कर रही हैं? क्या ब्लॉक व जिला स्तर पर ज्यादा से ज्यादा नए चेहरों को मौका दिया गया है? कितनी इकाईयां ऐसी हैं, जहां जिला व ब्लॉक, पांच साल से नहीं बदले गए?
नए लोगों को मौका देने की बात
खरगे ने पदाधिकारों से पूछा कि आपके प्रदेश में, जिसके आप प्रभारी हैं, अगले 30 दिन से 90 दिन के बीच में संगठन व जनहित के मुद्दों पर आंदोलन के लिए क्या रूपरेखा है? जिन प्रांतों में आज से साल 2024 के बीच विधानसभा चुनाव होने हैं, वहां चुनाव तक क्या प्लानिंग और एक्टिविटी शेड्यूल है. कांग्रेस अध्यक्ष ने सख्त लहजे में कहा कि कुछ साथियों ने यह मान लिया है कि जिम्मेदारी निभाने में कमी को नजरंदाज कर दिया जाएगा. यह न तो ठीक है और न ही मंजूर किया जा सकता. जो लोग जिम्मेदारी निभाने में असक्षम हैं, उन्हें नए साथियों को मौका देना पड़ेगा.
'भारत जोड़ो यात्रा बनी राष्ट्रीय जन आंदोलन'
खरगे ने भारत जोड़ो यात्रा का जिक्र करते हुए कहा, साथियों, देश में एक नया इतिहास लिखने वाली राहुल गांधी जी के नेतृत्व में चल रही ‘‘भारत जोड़ो यात्रा’’ आज 88 दिन पूरे कर रात के समय राजस्थान की सीमा में प्रवेश करेगी. भारत जोड़ो यात्रा अब एक राष्ट्र आंदोलन का रूप ले चुकी है. एक ऐसा आंदोलन, जो देश में कमरतोड़ महंगाई, भयंकर बेरोजगारी, नाकाबिले बर्दाश्त आर्थिक और सामाजिक असमानता, नफरत की राजनीति के खिलाफ एक निर्णायक जंग का आह्वान है. देश के करोड़ों लोग राहुल गांधी जी व कांग्रेस के संकल्प से जुड़े हैं. इनमें भारी संख्या में वो लोग भी हैं, जो कांग्रेस से नहीं जुड़े थे, या फिर हमारी आलोचना किया करते थे. भारत जोड़ो यात्रा का एक राष्ट्रीय जन आंदोलन का रूप ले लेना ही इस यात्रा की सबसे बड़ी कामयाबी है.
देश के विकास और तरक्की पर हमला कर रही सरकार- खरगे
खरगे ने आगे सरकार पर हमला बोलते हुए कहा, मोदी सरकार ने देश के लोगों पर, उनके अधिकारों पर, उनकी उम्मीदों पर हमला बोल रखा है और उनकी रक्षा की जिम्मेदारी भारतीय राष्ट्रीय कांग्रेस की है. जब गरीब या मध्यम वर्ग या नौकरीपेशा का महीने का बजट ही बिगड़ जाए, तो यह उसकी जिंदगी पर हमला है. जब देश की अर्थव्यवस्था औंधे मुंह गिरी हो और देश का रुपया सरकार की साख़ के साथ-साथ गिरता जाए, तो यह देश के विकास और तरक्की पर हमला है. जब देश के करोड़ों काबिल युवाओं के लिए रोजगार ही न हो, व मौजूदा रोजगार भी घटते जाएं, तो यह देश की आजीविका पर हमला है.
खरगे ने कहा, जब देश के दलितों, आदिवासियों, पिछड़ों, अल्पसंख्यकों, वंचितों और शोषितों में असुरक्षा का माहौल हो, और आए दिन सरकार उनके अधिकारों का दमन करे, तो यह देश के मेहनतकशों की जिंदगी पर हमला है. जब देश का किसान दिल्ली के दरवाजे पर आत्महत्या को मजबूर हो जाए, और उसे एमएसपी की गारंटी के लिए अपनी ही सरकार से संघर्ष करना पड़े, तो यह अन्नदाता की जिंदगी पर हमला है. जब पड़ोसी देश चीन हमारी सरजमीं पर कब्ज़ा करे बैठा हो तथा आए दिन नए सैन्य निर्माण करें और सरकार चुप रहे, तो यह देश की अखंडता पर हमला है.
कांग्रेस की बड़ी बैठक में अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खरगे ने पार्टी में जवाबदेही तय करने पर जोर दिया. उन्होंने प्रभारियों से अगले तीन महीने का रोडमैप भी मांगा. खरगे ने कहा कि हमें मिलकर इन सबके खिलाफ व नफरत के बीज बो कर बंटवारे की खेती काटने वाली सत्ताधारी ताकतों के खिलाफ़ मिलकर लड़ना है. यही हम सबका कर्तव्य भी है, और राष्ट्रधर्म भी.
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