नई दिल्ली: राजधानी दिल्ली कोरोना की चपेट में है. कोरोना का कहर दिल्ली वालों के लिये किस कदर जानलेवा साबित हो रहा है, इसका अंदाज़ा इसी बात से लगाया जा सकता है कि नवंबर का महीना अभी खत्म भी नहीं हुआ है और अकेले नवंबर के महीने में अब तक 2,001 मौतें दर्ज की जा चुकी हैं. दिल्ली में कोरोना से कुल मौत का आंकड़ा साढ़े आठ हजार के पार जा चुका है और इनमें से करीब से 2 हज़ार मौतें एक नवंबर से 23 नवंबर के बीच जारी आंकड़ों में दर्ज की गई हैं.


दिल्ली सरकार के स्वास्थ्य विभाग द्वारा जारी आंकड़ों के मुताबिक दिल्ली में लगातार चौथे दिन कोरोना से 100 से ज़्यादा मौत दर्ज की गई हैं. बीते 24 घन्टे में 121 लोगों की मौत हुई है और कोरोना से अब तक कुल मौत का आंकड़ा 8512 पर पहुँच गया है. अकेले नवम्बर के महीने के आंकड़ों पर नज़र डालें तो दिल्ली में मौत के रिकॉर्ड तोड़ आंकड़े इसी महीन में सामने आये हैं.




  • 18 नवंबर को दिल्ली में कोरोना से अब तक की सबसे ज़्यादा 131 मौतें रिपोर्ट की गईं.

  • वहीं 22 नवंबर और 23 नवंबर, दोनों ही दिन 121 मौतें दर्ज की गईं जो कि अब तक दूसरा सबसे बड़ा आंकड़ा है.

  • 1 नवंबर से 23 नवंबर के बीच 6 बार कोरोना से मौत का आंकड़ा 100 के पार हुआ है.

  • नवंबर महीने में कोरोना से सबसे कम 42 मौत 2 नवंबर को रिपोर्ट की गईं.


दिल्ली में नवंबर के महीने में अब तक रिपोर्ट की गईं मौत-




  • 1 नवंबर - 51 मौत

  • 2 नवंबर - 42 मौत

  • 3 नवंबर - 48 मौत

  • 4 नवंबर - 51 मौत

  • 5 नवंबर - 66 मौत

  • 6 नवंबर - 64 मौत

  • 7 नवंबर - 79 मौत

  • 8 नवंबर - 77 मौत

  • 9 नवंबर - 71 मौत

  • 10 नवंबर - 83 मौत

  • 11 नवंबर - 85 मौत

  • 12 नवंबर - 104 मौत

  • 13 नवंबर - 91 मौत

  • 14 नवंबर - 96 मौत

  • 15 नवंबर - 95 मौत

  • 16 नवंबर - 99 मौत

  • 17 नवंबर - 99 मौत

  • 18 नवंबर - 131 मौत

  • 19 नवंबर - 98 मौत

  • 20 नवंबर - 118 मौत

  • 21 नवंबर - 111 मौत

  • 22 नवंबर - 121 मौत

  • 23 नवंबर- 121 मौत


नवंबर के महीने में हो रही रिकॉर्ड तोड़ मौतों के लिये दिल्ली सरकार के स्वास्थ्य मंत्री सत्येंद्र जैन ने पराली जलाने से होने वाले प्रदूषण को ज़िम्मेदार ठहराया है. सत्येंद्र जैन ने कहा है कि पराली के जलने से जो प्रदूषण हुआ था उसकी वजह से केस खराब हुए. जो कोविड पीड़ित थे उनके केस काफी खराब हुए उसकी वजह से डेथ रेट में भी इजाफा हुआ. पिछले तीन-चार दिन से प्रदूषण काफी कम है इसका प्रभाव देखने को मिलेगा और मौत कम होंगी. विशेषज्ञों की राय का हवाला देते हुए स्वास्थ्य मंत्री ने कहा कि एक्सपर्ट्स ने भी कहा था कि प्रदूषण का प्रभाव कोरोना पर देखने को मिलेगा. उस समय प्रदूषण बहुत ज़्यादा था और उसका फर्क पड़ा था.


दिल्ली में कोरोना की मृत्यु दर 1.59 फीसदी है. नवंबर के महीना खत्म होने में अभी कुछ दिन और बाकी हैं और रिकॉर्ड तेज़ी से बढ़ते मौत के आंकड़े चिंता का सबब बनते जा रहे हैं.


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