नई दिल्ली: रेलवे प्रोटेक्शन फ़ोर्स के 28 सिपाहियों का एक दल एम्युनिशन लेने खड़कपुर से दिल्ली आया था. लेकिन लॉकडाउन के कारण 23 दिन बाद वापस लौटने पर इनमें से 9 जवानों का कोविड-19 टेस्ट पॉज़िटिव आया है. जबकि 4 जवानों का टेस्ट रिज़ल्ट अभी आना बाक़ी है. आरपीएफ के 28 जवान स्पेशल ट्रेन नम्बर 12443 से 19 मार्च को खड़कपुर से चल कर 20 मार्च को आनंद विहार पहुंचे थे.


दिल्ली से हावड़ा की यात्रा


साउथ ईस्टर्न रेलवे के लिए एम्युनिशन लेने दिल्ली आया ये दल 13 अप्रैल को पार्सल स्पेशल ट्रेन 00326 से नई दिल्ली से हावड़ा के लिए रवाना हुआ. हावड़ा पहुंचने के बाद ये दल आरपीएफ की एक बस से 14 अप्रैल को दोपहर 1:30 बजे खड़कपुर पहुंचा. इस बीच कुछ जवान रास्ते में ही अपनी ड्यूटी स्थान के लिए उतर गए थे. रेलवे के मुताबिक़ इन जवानों को अपने-अपने ड्यूटी स्थान पर ही क्वॉरन्टीन कर दिया गया.


खड़कपुर पहुंचे इसी दल का एक सिपाही दूसरी पार्सल ट्रेन से 14 अप्रैल की रात को ही बालासोर पहुंचा. अगले दिन इस सिपाही को बुख़ार हुआ. 16 तारीख़ को इसका कोविड-19 का टेस्ट हुआ. 20 अप्रैल को इसके टेस्ट का रिज़ल्ट पॉज़िटिव आ गया.


सभी 28 आरपीएफ सिपाहियों का कोविड-19 टेस्ट हुआ
दल के एक सिपाही के कोरोना पॉज़िटिव पाए जाने के बाद दिल्ली से लौटे दल के सभी जवानों का टेस्ट हुआ. जिनमें 8 अन्य सिपाही भी कोविड-19 पॉज़िटिव पाए गए. कुल 24 सिपाहियों का टेस्ट रिज़ल्ट आ गया है जिनमें 9 पॉज़िटिव हैं. अभी अन्य 4 सिपाहियों का टेस्ट रिज़ल्ट आना बाक़ी है.


आरपीएफ ने क्या कहा?


आरपीएफ का कहना है कि खड़कपुर पहुंचने के बाद सिपाहियों को अपने-अपने ड्यूटी स्थान पर ही क्वॉरन्टीन कर दिया गया था और रास्ते में ये पब्लिक के सम्पर्क में नहीं आए थे. इस बात की जांच के लिए एक कमेटी गठित कर दी गई है कि आख़िर ये आरपीएफ दल करोना संक्रमित कैसे हुआ.


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