नई दिल्ली: देश में कोरोना वायरस का खतरा लगातार बढ़ता जा रहा है और जब से निजामुद्दीन मरकज का मामला सामने आया है उसने पूरे देश को हिला कर रख दिया है. सबसे बड़ा सवाल ये है कि आखिर निजामुद्दीन मरकज का प्रमुख मौलाना साद कहां गायब हैं. इस बात की जानकारी दिल्ली पुलिस को भी नहीं है. निजामुद्दीन थाने के SHO मुकेश वालिया की शिकायत के आधार पर तब्लीगी जमात और मरकज से जुड़े छह लोगों के खिलाफ एफआईआर दर्ज करवाई गई है. इसमें जमात के प्रमुख मौलाना साद का नाम भी शामिल है.
पुलिस सूत्रों की मानें तो 28 मार्च के बाद से निजामुद्दीन इलाके में मौलाना साद को नहीं देखा गया है. उसके दो घर हैं एक निजामुद्दीन में मरकज के पास और दूसरा दिल्ली के जाकिर नगर में लेकिन मौलाना साद कहा पर है ये कोई नहीं जानता.
पुलिस के सूत्रों का कहना है कि मौलाना साद मोबाइल फोन का इस्तेमाल नहीं करता है. ये भी एक वजह है कि उसका पता नहीं चल पा रहा है. क्राइम ब्रांच ने मौलाना साद समेत 7 लोगों पर मुकदमा दर्ज किया है. पुलिस के मुताबिक अब पूरा मरकज खाली है, बुधवार को MCD की टीम मरकज पहुंची और पूरे मरकज को सेनेटाइज किया गया.
आपको बता दे कि ऐसी भी जानकारी सामने आई थी कि मरकज से करीब 50 लोग 22 मार्च को दिल्ली के ज़ाकिर नगर इलाके में अबू बकर मस्जिद पहुंचे थे. जब पुलिस को जानकारी मिली तो मस्जिद को क्वारंटाइन कर दिया गया था. सोमवार तक तो सभी लोग मस्जिद में थे लेकिन सूत्रो की माने तो 41 लोग वहां से गायब है वो कहा गए ये भी किसी को पता नहीं. पुलिस अब ये पता कर रही है कि आखिर वो 41 लोग कहा पर हैं.
बता दें कि इस महीने के शुरुआत में ही दिल्ली सरकार ने किसी भी तरह के धार्मिक, सामाजिक, सांस्कृतिक और राजनीतिक आयोजनों पर 31 मार्च तक के लिए पाबंदी लगा दी थी. इसके अलावा विरोध-प्रदर्शनों में 50 से ज्यादा लोगों के इकट्ठा होने पर भी रोक लगा दी थी.
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