नई दिल्ली: राष्ट्रीय राजधानी में कोरोना वायरस संक्रमण के बढ़ते मामलों के बीच रक्त संबंधी सर्वेक्षण (सीरोलॉजिकल सर्वे) शनिवार से शुरू किए जाएंगे. इस सर्वे के जरिए दिल्ली में कोविड-19 का व्यापक विश्लेषण किया जाएगा. साथ ही वैश्विक महामारी से निपटने के लिए एक व्यापक रणनीति बनाने में भी यह सहायक होगा.

केंद्रीय गृह सचिव ने 25 जून को एक बैठक में केंद्रीय गृह मंत्री मित शाह की अध्यक्षता में 21 जून को हुई बैठक में दिल्ली में कोविड की स्थिति के बारे में लिए गए विभिन्न फ़ैसलों के कार्यान्वयन की समीक्षा की. बैठक मे दिल्ली के मुख्य सचिव और स्वास्थ्य सचिव के साथ ही नीति अयोग के सदस्य डा. वी के पाल, अखिल भारतीय आयुर्विज्ञान संस्थान(AIIMS) के निदेशक डा. रणदीप गुलेरिया और भारतीय चिकित्सा अनुसंधान परिषद (ICMR) के महानिदेशक बलराम भार्गव भी शामिल हुए.

27 जून से 10 जुलाई के बीच करीब 20 हजार लोगों की होगी जांच

गृह मंत्रालय के एक प्रवक्ता ने ट्वीट किया, ‘‘गृह मंत्री अमित शाह के निर्देशों के अनुसार दिल्ली में सीरोलॉजिकल सर्वे पर चर्चा की गई, जिसे एनसीडीसी और दिल्ली सरकार मिलकर करेगी.’’ प्रवक्ता ने ट्वीट में लिखा ‘‘सर्वे 27 जून से शुरू किया जाएगा, इससे संबंधित सभी दलों का प्रशिक्षण कल पूरा हो गया.’’ गृह मंत्रालय ने पहले ही कहा था कि दिल्ली में 27 जून से 10 जूलाई के बीच करीब 20 हजार लोगों की यह जांच की जाएगी. सीरोलॉजी (एंटीबॉडी) जांच समुदायों के बीच निगरानी रखने के लिए होती है. इससे कोरोना वायरस के खिलाफ प्रतिरोधी क्षमता के बारे में जानकारी मिल सकती है.

जिला स्तरीय टीमों का भी गठन
गृह सचिव ने इस बैठक में जाना कि केन्द्रीय गृह मंत्री द्वारा निर्देशित सभी निर्णय सुचारू और समयबद्ध तरीके से लागू किए गए हैं और दिल्ली के लिए एक कोविड रिस्पोंस योजना को अंतिम रूप दिया जा चुका है. इसके साथ ही दिल्ली में कोविड से संबंधित कार्यों के लिए जिला स्तरीय टीमों का भी गठन किया गया है.

बैठक में यह भी बताया गया कि केंद्रीय गृह मंत्री द्वारा निर्धारित समयसीमा के अनुसार दिल्ली में कोविड प्रकोप वाले सभी क्लस्टर समेत कंटेनमेंट ज़ोन के पुनर्निर्धारण का काम 26 जून तक पूरा कर लिया जाएगा, साथ ही घर-घर स्वास्थ्य सर्वे भी 30 जून को पूरा हो जाएगा. अमित शाह ने दिल्ली के घनी आबादी वाले क्षेत्रों में कोविड संक्रमण को रोकने व पता लगाने के लिए आरोग्य सेतु और इतिहास ऐप्स के उपयोग की भी मंज़ूरी दी थी.

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