(Source: ECI/ABP News/ABP Majha)
Cyclone Amphan: ममता बनर्जी ने रेलवे को लिखी चिट्ठी, 26 मई तक श्रमिक स्पेशल ट्रेनों पर रोक लगाने की मांग
ममता बनर्जी ने रेलवे को पत्र लिखकर चक्रवात 'उम्पुन' के मद्देनजर 26 मई तक राज्य में श्रमिक स्पेशल ट्रेन न भेजने की मांग की है.
नई दिल्ली: उम्पुन तूफान से पश्चिम बंगाल में भारी नुकसान हुआ है. अब पश्चिम बंगाल सरकार ने रेलवे बोर्ड को चिट्ठी लिखकर 26 मई तक श्रमिक स्पेशल ट्रेनों पर रोक लगाने की मांग की है. कोलकाता समेत पश्चिम बंगाल के कई हिस्सों में तबाही मचाने वाले अत्यंत भीषण चक्रवाती तूफान 'उम्पुन' की वजह से हजारों मकान नष्ट हो गए हैं.
पश्चिम बंगाल की सीएम ममता बनर्जी ने रेलवे को पत्र लिखकर चक्रवात 'उम्पुन' के मद्देनजर 26 मई तक राज्य में श्रमिक स्पेशल ट्रेन न भेजने की मांग की है.
WB CM Mamata Banerjee writes to Railways asking them not to send Shramik Special trains to state till May 26 in view of Cyclone Amphan
— Press Trust of India (@PTI_News) May 23, 2020
बता दें कि पश्चिम बंगाल में चक्रवात उम्पुन की वजह से मरने वालों की संख्या बढ़कर 85 हो गई है. चक्रवात के कारण जन-जीवन बुरी तरह से प्रभावित होने के बाद, प्रशासन के तमाम अधिकारी राज्य के विभिन्न हिस्सों में स्थिति को सामान्य बनाने के लिए जुटे हुए हैं. राज्य में बुधवार को चक्रवात अम्फान के भीषण तबाही मचाने के बाद लाखों लोग बेघर हो गए, कई घर बर्बाद हो गए, हजारों पेड़ उखड़ गए और निचले इलाके जलमग्न हो गए.
कई इलाके अंधकार में डूबे हुए हैं
आधिकारिक सूत्रों के मुताबिक, राज्य के करीब 1.5 करोड़ लोग सीधे तौर पर प्रभावित हुए हैं. कोलकाता के कुछ हिस्सों और उत्तर व दक्षिण 24 परगना में भले ही बिजली और मोबाइल सेवाएं बहाल कर ली गईं हैं लेकिन बिजली के खंभे उखड़ जाने और संचार लाइनें टूट जाने से अब भी कई इलाके अंधकार में डूबे हुए हैं.
कोलकाता के विभिन्न हिस्सों में लोग बिजली और पानी की तत्काल आपूर्ति बहाल करने की मांग के साथ शुक्रवार रात से प्रदर्शन कर रहे हैं और सड़कें बाधित की हुई हैं. कोलकाता नगर निगम प्रशासक बोर्ड के प्रमुख फरहाद हाकिम ने आश्वासन किया है कि एक हफ्ते के भीतर स्थिति सामान्य हो जाएगी क्योंकि सरकारी अधिकारी स्थिति में सुधार के लिए लगातार काम कर रहे हैं.
यह भी पढ़ें-
लॉकडाउन से खतरे में दुनियाभर के 8 करोड़ मासूम, नवजात बच्चों के टीकाकरण कार्यक्रम रुके