दार्जिलिंग: पश्चिम बंगाल के दार्जिलिंग में अनिश्चिलकालीन हड़ताल के बीच मंगलवार को जीजेएम समर्थकों और पुलिस के बीच झड़प होने से फिर से अशांति भड़क पैदा हो गई है. प्रदर्शनकारियों ने नारे लगाए और सुरक्षा बलों पर ईंट-पत्थर फेंके, जिससे पुलिस को चौक बाजार के पास भीड़ को तितर-बितर करने के लिए लाठीचार्ज करना पड़ा.


छोटे समूहों में बांटकर मुख्य सड़क पर पहुंचने की कोशिश


दार्जिलिंग के मुख्य मार्गों पर पुलिस की कड़ी सुरक्षा से बचने के लिए जीजेएम कार्यकर्ताओं ने अपने को छोटे समूहों में बांटकर गलियों के रास्ते मुख्य सड़क पर पहुंचने की कोशिश की, लेकिन पुलिस ने उन्हें चौक बाजार के पास रोक लिया.


सुरक्षा बलों पर चौक बाजार के पास पथराव


इस दौरान सीआरपीएफ के जवानों और काउंटर इनसर्जेसी बल के साथ जिले के नव नियुक्त पुलिस अधीक्षक अखिलेश चतुर्वेदी सहित वरिष्ठ पुलिस अधिकारी सड़कों पर गश्त करते देखे गए. चतुर्वेदी ने कहा, "कार्यकर्ता हिंसक हो गए और हमारे सुरक्षा बलों पर चौक बाजार के पास पथराव करने लगे. लेकिन भीड़ को तितर-बितर कर दिया गया. हमें देखना होगा कि क्या कोई अधिकारी भी घायल हुआ है."


पार्टी कार्यालय के बाहर भारी संख्या में पुलिस बल तैनात


इस बीच पुलिस ने बीते गुरुवार को इलाके में हुई हिंसा के सिलसिले में जीजेएम शासित पहाड़ी क्षेत्र विकास इकाई, गोखालैंड क्षेत्रीय प्रशासन के सदस्य सतीश पोखरियाल को सोमवार रात गिरफ्तार किया. दार्जिलिंग के सिंगमारी में जीजेएम पार्टी कार्यालय के बाहर भारी संख्या में पुलिस बल तैनात किया गया है.


अलग गोरखालैंड की मांग को लेकर प्रदर्शन


आपको बता दें कि पश्चिम बंगाल के पहाड़ी क्षेत्र में जीजेएम के अलग गोरखालैंड राज्य की मांग को लेकर करीब एक हफ्ते से ज्यादा समय से विवाद जारी है. जीजेएम ने राज्य सरकार पर पहाड़ी लोगों पर 'मनमानी और अत्याचार करने' का आरोप भी लगाया है.


पहाड़ी क्षेत्र के लिए ऐसी कोई योजना नहीं: ममता बनर्जी


इसके अलावा जीजेएम इलाके के नेपाली भाषी लोगों पर बंगाली थोपने के राज्य सरकार के प्रयास के खिलाफ प्रदर्शन कर रही है. हालांकि, मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने कहा है कि उनकी पहाड़ी क्षेत्र के लिए ऐसी कोई योजना नहीं है.


कम से कम 50 पुलिस कर्मी घायल


दार्जिलिंग में राज्य सरकार के कैबिनेट की बैठक के तुरंत बाद बीते गुरुवार को पुलिस और मोर्चा कार्यकर्ताओं के बीच हिंसक संघर्ष हुई, जिसमें कई कार्यकर्ता घायल हो गए और कम से कम 50 पुलिस कर्मी घायल हो गए.