16 दिसंबर को डीडीसीए का चुनाव, अध्यक्ष पद के लिए रोहन जेटली और कीर्ति आजाद के बीच कड़ा मुकाबला, जानें जीत का असली दावेदार कौन?
DDCA Elections: डीडीसीए के अध्यक्ष पद के लिए 16 दिसंबर को होने वाले चुनाव में रोहन जेटली और कीर्ति आजाद के बीच सीधा मुकाबला होगा. इस बार चुनाव में दोनों नेताओं के बीच कड़ी टक्कर देखने को मिलेगी.
Rohan Jaitley Vs Kirti Azad: डीडीसीए (दिल्ली एवं जिला क्रिकेट संघ) के अध्यक्ष पद के लिए 16 दिसंबर को होने वाले चुनाव में रोहन जेटली और कीर्ति आजाद के बीच सीधा मुकाबला देखने को मिलेगा. रोहन जेटली जो वर्तमान में डीडीसीए के अध्यक्ष हैं इस बार भी अपने पद पर बने रहने के लिए चुनावी मैदान में हैं. वहीं कीर्ति आजाद जो एक पूर्व क्रिकेटर और मौजूदा सांसद हैं. वे इस बार रोहन जेटली को चुनौती देने के लिए तैयार हैं.
रोहन जेटली ने कहा "मैं चुनाव जीतने को लेकर आश्वस्त हूं"
रोहन जेटली ने एबीपी न्यूज से खास बातचीत करते हुए कहा कि चुनाव कभी भी आसान नहीं होते, लेकिन वे अपनी जीत को लेकर पूरी तरह से आश्वस्त हैं. उन्होंने कहा "डीडीसीए के सदस्य बहुत समझदार हैं और वह यह अच्छे से समझते हैं कि क्या सही है और क्या गलत." रोहन जेटली ने ये भी कहा कि उन्होंने पहले डीडीसीए के लिए कई बेहतरीन काम किए हैं जिनका असर अब सभी पर नजर आ रहा है.
कीर्ति आजाद को मिल रहा है राजनीतिक दलों का समर्थन
हालांकि इस बार डीडीसीए के अध्यक्ष पद के चुनाव में कीर्ति आजाद को आम आदमी पार्टी, कांग्रेस और बाकी विपक्षी दलों का समर्थन मिल रहा है जो चुनाव को और भी दिलचस्प बना रहे हैं. रोहन जेटली के पहले चुनाव की तुलना में इस बार मुकाबला कड़ा होने की संभावना है क्योंकि कीर्ति आजाद के पास राजनीतिक दलों का समर्थन है जो उन्हें चुनावी मैदान में मजबूती दे रहा है.
डीडीसीए के भविष्य को लेकर रोहन जेटली का विजन
रोहन जेटली ने चुनावी अभियान के दौरान ये भी साफ किया कि यदि वह फिर से डीडीसीए के अध्यक्ष बनते हैं तो क्रिकेट के लिए और बेहतर सुविधाएं प्रदान की जाएंगी. उनका कहना था "हमने तय किया है कि एक अंतरराष्ट्रीय स्तर का स्टेडियम और एक्सीलेंस सेंटर जैसी सुविधाएं बढ़ाई जाएंगी." उन्होंने यह भी कहा कि डीडीसीए के बदलाव को सदस्य बहुत नजदीक से देख चुके हैं और इस बार भी वह अपने काम के दम पर चुनाव जीतने के लिए पूरी तरह से तैयार हैं. ऐसे में डीडीसीए के अध्यक्ष पद के लिए मुकाबला काफी दिलचस्प होने वाला है और अब 16 दिसंबर को आने वाले चुनाव परिणाम ही ये तय करेंगे कि इस बार डीडीसीए की कमान किसके हाथों में जाएगी.
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