मानहानि मामला: केजरीवाल ने कहा- अपनी जेब से क्यों दूं वकील की फीस?
नई दिल्ली: मानहानि के एक मुकदमे में अपने बचाव के लिए सरकारी खजाने से वकील राम जेठमलानी को भुगतान करने के मुद्दे पर पैदा हुए विवाद पर चुप्पी केजरीवाल ने अपनी चुप्पी तोड़ी है. दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल ने मंगलवार को सवाल किया कि ‘‘क्या मुझे अपनी जेब से भुगतान करना चाहिए ?’’
ईवीएम विवाद से ध्यान हटाने के लिए यह मामला उछाला जा रहा है: सिसोदिया
जेठमलानी के बकाया बिल को मंजूर करने के लिए सामान्य प्रशासन विभाग को निर्देश देने वाले उप-मुख्यमंत्री मनीष सिसोदिया ने कहा कि ईवीएम विवाद से ध्यान हटाने के लिए यह मामला उछाला जा रहा है. गौरतलब है कि जेठमलानी के बिल का भुगतान अब तक नहीं किया गया है और यह मामला अभी उप-राज्यपाल अनिल बैजल के पास लंबित है. केजरीवाल का केस लड़ने पर जेठमलानी का बिल करीब 3.4 करोड़ रूपए का है.
भ्रष्टाचार की लड़ाई को कमजोर करने के लिए विवाद पैदा किया गया: केजरीवाल
उत्तर-पूर्वी दिल्ली के सीमापुरी में एक रैली को संबोधित करते हुए केजरीवाल ने कहा कि भ्रष्टाचार के खिलाफ आप सरकार की लड़ाई को कमजोर करने के लिए पूरा विवाद पैदा किया जा रहा है. केजरीवाल ने कहा, ‘‘यहां क्रिकेट कौन खेलता है? दिल्ली में क्रिकेट में बड़े पैमाने पर भ्रष्टाचार होता है. आपने डीडीसीए का नाम सुना हो मामले की जांच शुरू की. तब बीजेपी ने मेरे खिलाफ केस दर्ज कगा. यह बहुत भ्रष्ट था. युवा मेरे पास आते थे और शिकायत करते थे कि चयन के लिए पैसे मांगे जा रहे हैं.’’ मुख्यमंत्री ने कहा, ‘‘मैंने इसरा दिया. हमने वकील राम जेठमलानी की सेवाएं ली. वे पूछ रहे हैं कि सरकार को क्यों भुगतान करना चाहिए? क्या मुझे मेरे जेब से पैसे देने चाहिए? वे भ्रष्टाचार के खिलाफ हमारी लड़ाई को कमजोर करना चाहते हैं.’’
यह अरविंद केजरीवाल का निजी मामला नहीं है: सिसोदिया
इस बीच अपने आवास के बाहर सिसोदिया ने कहा कि केजरीवाल के खिलाफ मानहानि का मुकदमा इसलिए दायर किया गया, क्योंकि उन्होंने डीडीसीए में कायम भ्रष्टाचार की जांच शुरू कराई थी. सिसोदिया ने कहा, ‘‘यदि उन्होंने सरकार की ओर से जांच कराए जा रहे किसी मामले को चुनौती दी तो वकीलों का बिल सरकार ही देगी. यह अरविंद केजरीवाल का निजी मामला नहीं है.’’