INS Mormugao: युद्धपोत मोरमुगाओ नौसेना में शामिल, रक्षामंत्री राजनाथ सिंह बोले- काफी ताकतवर है ये डिस्ट्रॉयर
Rajnath Singh: राजनाथ सिंह ने इस अवसर पर पूर्व रक्षामंत्री मनोहर पर्रिकर को भी याद किया. पर्रिकर ने ही सितंबर 2016 में INS मोरमुगाओ की लॉन्चिंग की थी.
Rajnath Singh Inaugurated INS Mormugao: भारतीय नौसेना के बेड़े में आधुनिक हथियारों से लैस 'INS मोरमुगाओ' शामिल हो गया है. रक्षामंत्री राजनाथ सिंह ने इसे इंडियन नेवी को सौंपा. हिंद महासागर क्षेत्र में चीन के बढ़ते दखल के बीच इस युद्धपोत का इंडियन नेवी में शामिल होना महत्वपूर्ण माना जा रहा है. इस युद्धपोत के मिलने से भारतीय नौसेना की ताकत में काफी इजाफा हुआ है.
'INS मोरमुगाओ' को नौसेना को सौंपते हुए रक्षामंत्री राजनाथ सिंह ने कहा, "आईएनएस मोरमुगाओ की कमिशनिंग के लिए आज हम सभी जिस जगह एकत्र हुए हैं, यह ऐतिहासिक प्रदेश छत्रपति शिवाजी, संभाजी और कान्होजी जैसे वीरों के पराक्रम का साक्षी रहा है. उनकी कर्मस्थली पर इस जंगी जहाज की कमिशनिंग अपना और भी विशिष्ट महत्त्व रखती है."
राजनाथ ने मनोहर पर्रिकर को किया याद
राजनाथ सिंह ने इस अवसर पर पूर्व रक्षामंत्री मनोहर पर्रिकर को भी याद किया. उन्होंने कहा, "इस अवसर पर मैं पूर्व रक्षा मंत्री स्वर्गीय मनोहर पर्रिकर को भी अपनी श्रद्धांजलि अर्पित करता हूं, जो गोवा के बेटे थे और सितंबर 2016 में उन्हीं के हाथों से INS मोरमुगाओ की लॉन्चिंग हुई थी. राजनाथ ने कहा, "समुद्र की महत्ता भी हमारे पुराणों में बहुत देखी गई है. कुछ लोगों में हमारे पुराणों की आलोचना करते रहे है. मैं मानता हूं कि कोई कल्पना भी है तो वह बिना सत्य के सामने नहीं आती. मनुष्य की कल्पना में सत्य जरूर होगा."
समुद्री सीमाओं की सुरक्षा मजबूत होगी
रक्षामंत्री ने कहा, "इंडियन नेवी की ओर से आयोजित ‘INS मोरमुगाओ’ के कमीशन समारोह में आप सभी के बीच उपस्थित होकर मुझे बेहद खुशी हो रही है. नौसेना में शामिल INS मोरमुगाओ अपनी खुबियों की वजह से महत्तवपूर्ण स्थान रखेगा." उन्होंने कहा, "आईएनएस विशाखापत्तनम की श्रेणी का यह मिसाइल विंध्वसंक युद्धपोत, भारत में निर्मित होने वाले सबसे शक्तिशाली युद्धपोतों में से एक है. मेरा विश्वास है कि यह जंगी जहाज अपनी क्षमताओं से समुद्री सीमाओं की सुरक्षा में उल्लेखनीय बढ़ोत्तरी करेगा.
पोर्ट और युद्धपोत दोनों हैं विशेष
राजनाथ सिंह ने कहा, "मोरमुगाओ ने एक पोर्ट के रूप में भारत के समुद्री व्यापार की उन्नति में अपना महत्त्वपूर्ण योगदान दिया है. आज भी यह देश के सबसे पुराने और बड़े पोर्ट में से एक है. मोरमुगाओ पोर्ट की तरह आईएनएस मोरमुगाओ भी अपनी खूबियों और सेवाओं के चलते अपना विशिष्ट स्थान हासिल करेगा."
INS मोरमुगाओ की विशेषताएं
यह पूरी तरह से स्वदेशी युद्धपोत है और भारत के निर्मित सबसे घातक युद्धपोतों में शामिल है. भारतीय नौसेना के अनुसार, यह युद्धपोत दूरसंवेदी उपकरणों, आधुनिक रडार और सतह से सतह पर मार करने वाली मिसाइल और सतह से हवा में मार करने वाली मिसाइल जैसी हथियार प्रणालियों से लैस है. नौसेना ने बताया, इस युद्धपोत की लंबाई 163 मीटर, चौड़ाई 17 मीटर और वजन 7,400 टन है. इस युद्धपोत में चार शक्तिशाली गैस टर्बाइन लगी हैं जिनकी मदद से यह जंगी जहाज 30 समुद्री मील से अधिक की रफ्तार से चल सकता है. यह युद्धपोत दूरसंवेदी उपकरणों, आधुनिक रडार और सतह से सतह पर मार करने वाली मिसाइल और सतह से हवा में मार करने वाली मिसाइल, रॉकेट लॉन्चर और टोरपीडो जैसे हथियारों से लैस है. इसकी वजह से दुश्मन देश के जहाज पर हमेशा भारी पड़ेगा.
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