नई दिल्ली: दिल्ली विधानसभा चुनावों के लिए दिल्ली बीजेपी ने चुनाव समिति की घोषणा की है. कुल 15 लोगों की समिति में दिल्ली बीजेपी अध्यक्ष मनोज तिवारी समेत आठ सांसदों के नाम शामिल हैं. पूर्व प्रदेश अध्यक्ष सतीश उपाध्याय को भी समिति का हिस्सा बनाया गया है.


इन नेताओं के नाम शामिल


15 नेता में प्रदेश अध्यक्ष मनोज तिवारी, राष्ट्रीय महामंत्री अनिल जैन, राष्ट्रीय उपाध्यक्ष दुष्यंत गौतम, केंद्रीय मंत्री हर्ष वर्धन, राज्यसभा सांसद विजय गोयल, राष्ट्रीय मंत्री आरपी सिंह, महामंत्री संगठन सिद्धार्थन, लोकसभा सांसद रमेश बिधूड़ी, लोकसभा सांसद प्रवेश साहिब सिंह वर्मा, लोकसभा सांसद मीनाक्षी लेखी, लोकसभा सांसद गौतम गंभीर, लोकसभा सांसद हंसराज हंस, नेता प्रतिपक्ष दिल्ली विधानसभा विजेंद्र गुप्ता, पूर्व प्रदेश अध्यक्ष सतीश उपाध्याय, प्रदेश अध्यक्ष महिला मोर्चा पूनम पराशर के नाम शामिल हैं.



दिल्ली में विधानसभा की कुल 70 सीटें हैं. सभी सीटों पर 8 फरवरी को वोटिंग होगी. चुनाव के नतीजे 11 फरवरी को घोषित किए जाएंगे. राज्य में आचार संहिता लागू कर दी गई है. इस बार 1.46 करोड़ मतदाता अपने मताधिकार का इस्तेमाल करेंगे. 13750 पोलिंग स्टेशन बनाए जाएंगे. 2689 जगहों पर वोटिंग होगी. 90 हजार कर्मचारी चुनाव में तैनात किए जाएंगे. बुजुर्ग भी पोस्टल बैलेट से वोट दे पाएंगे. उन्हें पांच दिन पहले ही पर्चा भरना पड़ेगा.


क्या कुछ बदलेगा इन चुनावों में 


इस बार दिल्ली विधानसभा चुनावों में करीब 1 करोड़ 47 लाख मतदाता अपने मत का इस्तेमाल कर सकेंगे. वहीं 80 साल से ज्यादा उम्र के लोगों के पास पोस्टल बैलट से भी अपने मत का इस्तेमाल करने का अधिकार होगा. इन विधानसभा चुनावों में पहली बार पूरी तरह से वोटर स्लिप के ऊपर क्यूआर कोड भी छपा होगा, इस क्यूआर कोड को स्कैन कर चुनाव अधिकारी मतदाता की पहचान कर उसको वोट डालने की अनुमति देंगे. इतना ही नहीं पोलिंग बूथ पर मोबाइल रखने के लिए मोबाइल लॉकर का भी इंतजाम किया जाएगा.


पिछले बार किसे कितनी सीटें


साल 2015 में हुए विधानसभा चुनाव में अरविंद केजरीवाल की पार्टी ने जबरदस्त जीत हासिल की थी. दिल्ली की कुल 70 विधानसभा सीटों में से आम आदमी पार्टी ने 67 सीटों पर कब्जा जमाया था. बाकी बची तीन सीटें बीजेपी के खाते में गई थी. कांग्रेस का खाता खाली रह गया था. इस बार तीनों दलों ने एड़ी-चोटी का जोर लगा दिया है. बीजेपी, आम आदमी पार्टी और कांग्रेस एक दूसरे पर हमलावर हैं.