नारायणा इलाके में मामूली सी बात पर शुरू हुई कहासुनी ने खूनी रंग ले लिया. ये सब नारायणा थाने से चंद कदमों की दूरी पर हुआ. झगड़े की शुरुआत उस समय हुई, जब पान की दुकान पर काम करने वाले एक किशोर को स्कूटी सवार ने मामूली सी टक्कर मार दी. इसके बाद दोनों पक्षों में बहस शुरू हो गई. बहस ने झगड़े का रंग ले लिया और इसी विवाद में पान दुकान मालिक व उसके यहां पर काम करने वाले लोगों ने मिलकर शिवा नाम के युवक की छाती में चाकू से वार कर उसकी हत्या कर दी.


पीड़ित पक्ष का आरोप है कि झगड़े के समय 2 पुलिस कर्मी भी वहां मौजूद थे लेकिन झगड़े को रोक नहीं पाए. पान दुकान वाले को पुलिस की शह भी मिली हुई है और यही वजह रही कि जब शिवा के परिजन वहां पहुंचे और शिवा को अस्पताल ले जाना चाहा तो उसे ले जाने नहीं दिया गया. बाद में जब लोगों की भीड़ बड़ी और पुलिस की संख्या बढ़ी तब शिवा को अस्पताल ले जाया गया लेकिन तब तक देर हो चुकी थी.


क्या है मामला


पश्चिमी जिला के डीसीपी घनश्याम बंसल का कहना है कि यह वारदात गुरु शुक्रवार देर रात लगभग 10 बजे की है. नारायणा गांव निवासी शिवा अपने कजन के साथ पीवीआर सिनेमा के नजदीक एक पान दुकान के बाहर स्कूटी पर पहुंचा. स्कूटी दुकान पर ही काम करने वाले किशोर से टकरा गई, जिसके बाद इन लोगों का झगड़ा शुरू हो गया और इसी झगड़े में शिवा की चाकू से वार करके हत्या कर दी गई. पुलिस का कहना है कि इस मामले में एक नाबालिग समेत पांच लोगों को पकड़ा गया है. नाबालिग के खिलाफ जूविनइल जस्टिस एक्ट के तहत कार्रवाई की जा रही है, जबकि अन्य चारों आरोपियों को गिरफ्तार कर लिया गया है. दुकान चलाने वाले व्यक्ति का नाम धर्मेंद्र है.


परिजनों का क्या है आरोप


शिवा के बड़े भाई आकाश ने बताया कि शिवा शादीशुदा था. उसके दो बच्चे हैं. लॉक डाउन में उसकी नौकरी चली गई थी. वह पहले फाइनेंस सेक्टर में काम करता था. आकाश का यह भी कहना है कि घटना थाने के बिल्कुल नजदीक हुई है. इसी से अंदाजा लगाया जा सकता है कि आरोपियों के मन में पुलिस का कोई भी खौफ नहीं था. वे लोग वहीं पर पान का खोखा का चलाते हैं और कहीं ना कहीं पुलिस की शह भी उनको मिली हुई है.


प्रत्यक्षदर्शियों ने ये बताया


घटना के समय शिवा का ममेरा भाई राहुल भी उसके साथ था. राहुल ने बताया कि वे लोग जब स्कूटी पर पीवीआर नारायणा के नजदीक पहुंचे तो पान की दुकान पर काम करने वाले एक लड़के से उनके स्कूटी की टक्कर हो गई. इसके बाद कहासुनी शुरू हो गई. लड़के ने कहा कि यहीं रहना है या दूसरे घर जाना है. बात जब बढ़ गई तो दुकान के मालिक धर्मेंद्र ने दुकान से चाकू निकाला और उस लड़के को दे दिया, जो नाबालिग है और उस लड़के ने चाकू से शिवा की छाती पर वार कर दिया. मैंने जब मदद के लिए अपने भाइयों को फोन किया तो वे लोग और गांव के अन्य लोग भी मौके पर आ गए.


हम लोग जब शिवा को अस्पताल ले जाना चाह रहे थे और उसे वहां से उठाना चाह रहे थे तो आरोपियों ने उसे वहां से उठाने नहीं दिया. वे लोग हमसे लड़ने लगे. झगड़ा जब शुरू हुआ था, तो 2 पुलिसकर्मी भी वहां पर खड़े हुए थे. लेकिन उनके रहते भी झगड़ा रुका नहीं और आरोपियों ने सरेआम इस हत्या की वारदात को अंजाम दे दिया. हमारे ही किसी एक साथी ने एक वीडियो भी बनाया है, जिसमें देखा जा सकता है कि जब हम जब शिवा को उठाने का प्रयास कर रहे हैं, तो हमें रोका जा रहा है.


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