Delhi Dengue: डेंगू के बचाव और रोकथाम को लेकर केजरीवाल सरकार ने लिए कई अहम फैसले, ज़ुर्माना भी बढ़ाया
Heath Minister On Delhi Dengue: दिल्ली में डेंगू के मामलों को लेकर मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल ने अहम बैठक की और सभी विभागों को डेंगू की रोकथाम के निर्देश दिए.
Delhi Dengue Cases: दिल्ली में वेक्टर जनित बीमारियों (डेंगू, मलेरिया, चिकनगुनिया) से बचाव व रोकथाम को लेकर शुक्रवार (28 जुलाई) को मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल ने उच्चस्तरीय समीक्षा बैठक की. इस दौरान डेंगू को लेकर हेल्पलाइन 1031 जारी करने के साथ ही कई अहम निर्णय लिए गए.
दिल्ली सचिवालय में हुई बैठक में स्वास्थ्य मंत्री सौरभ भारद्वाज और एमसीडी की मेयर डॉ. शैली ओबेरॉय के साथ स्वास्थ्य विभाग, एमसीडी, एनडीएमसी, दिल्ली कैंट, दिल्ली जल बोर्ड, सिंचाई विभाग समेत अन्य विभागों के अफसर मौजूद थे.
सीएम केजरीवाल ने दिए टारगेट
स्वास्थ्य मंत्री सौरभ भारद्वाज ने डेंगू से निपटने की तैयारियां को लेकर की गई समीक्षा बैठक में लिए गए निर्णयों की विस्तार से जानकारी दी. उन्होंने कहा कि दिल्ली में बारिश अक्सर जुलाई के महीने में शुरू होती थी लेकिन इस बार अप्रैल, मई और जून में भी बारिश हुई है. जुलाई में रिकॉर्ड तोड़ बारिश हुई है.
इस वजह से मच्छर जनित बीमारियों का ट्रेंड ज्यादा दिख रहा है. अगस्त-सितंबर महीने में डेंगू, मलेरिया और चिगनगुनिया के मामले बढ़ने के ट्रेंड दिखाई देते थे, जो इस बार जुलाई महीने में देखने को मिल रहा है.
स्वास्थ्य मंत्री सौरभ भारद्वाज ने बताया कि दिल्ली में मच्छर जनित बीमारियों के बढ़ते मामले को देखते हुए मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल ने सभी विभागों को अपने स्तर पर कुछ कार्य करने के टारगेट दिए. इस दौरान मुख्य रूप से डेंगू पर विस्तृत चर्चा हुई. डेंगू से बचाव उसके बारे में जागरूकता से ही किया जा सकता है.
ट्रेंड की कराई जिनोम सीक्वेंसिंग
स्वास्थ्य मंत्री सौरभ भारद्वाज ने कहा कि इस बार हमने दिल्ली में मच्छर जनित बीमारियों के चल रहे ट्रेंड की जिनोम सीक्वेंसिंग कराई है. इसमें पाया गया है कि 20 सैंपल में से 19 सैंपल टाइप-2 डेंगू के हैं. टाइप-2 डेंगू में खतरा ज्यादा रहता है. चूंकि ज्यादातर केस टाइप-2 के निकले हैं, इसलिए ये कहा जा सकता है कि दिल्ली में दो स्टेन नहीं हैं, बल्कि एक ही स्टेन फैला हुआ है. जिसकी वजह से बीमारी बहुत ज्यादा गंभीर नहीं होती है. फिर भी हमें इसे लेकर सर्तकता बरतने में कोई कमी नहीं करनी है.
स्कूल के बच्चों के लिए सलाह
स्वास्थ्य मंत्री ने कहा कि खासतौर पर स्कूली बच्चों सतर्क रखने के लिए कहा गया है. हमने शिक्षा विभाग को जुलाई के पहले सप्ताह में निर्देश दिए थे कि सभी सरकारी, एमसीडी या प्राइवेट स्कूलों को निर्देश दिए जाएं कि बच्चे पूरी आस्तीन की कमीज पहन कर आएंगे. बच्चे फुल टी-शर्ट और फुल पैंट पहनें. अगर लड़कियां स्कर्ट पहन रही हैं, तो उसके नीचे स्लैक्स पहनें. अगर स्कूल ड्रेस में स्लैक्स की अनुमति न हो तो भी स्कूल उसकी अनुमति दें. अगर किसी बच्चे के पास ड्रेस की फुल आस्तीन की कमीज नहीं है तो उसको घर की फुल आस्तीन की कमीज और ट्राउजर पहन कर आने की अनुमति दी जाए.
स्वास्थ्य मंत्री सौरभ भारद्वाज ने कहा कि शिक्षा विभाग की ओर से दिए गए आदेश का पूरी तरह से पालन होते नहीं देखा जा रहा है. बहुत सारे बच्चे हाफ शर्ट पहन कर स्कूल जा रहे हैं. सीएम अरविंद केजरीवाल ने शिक्षा निदेशक को आदेश का सख्ती से पालन कराने का निर्देश दिया है, ताकि सभी बच्चे फुल शर्ट-पैंट में ही स्कूल आएं.
डेंगू पर दिया जाएगा होम वर्क
उन्होंने बताया कि सभी स्कूली बच्चों को डेंगू पर होम वर्क दिया जाएगा. बच्चों को डेंगू की रिपोर्ट कार्ड दी जाएगी और कहा जाएगा कि बच्चे अपने घर में एक सप्ताह तक नियमित चेक करें कि कहीं पानी जमा तो नहीं हो रहा है. उस रिपोर्ट कार्ड को भर कर अगले सप्ताह स्कूल में जमा करेंगे. इसके बाद बच्चों द्वारा जमा की गई रिपोर्ट के आधार पर स्कूल के शिक्षक उसके घर जाकर जांच करेंगे. यह रिपोर्ट कार्ड दिल्ली सरकार, एमसीडी और प्राइवेट स्कूलों के सभी बच्चों को देना अनिवार्य किया गया है. मुख्यमंत्री ने शिक्षा विभाग को इसे सख्ती से पालन कराने का निर्देश दिया है.
अस्पतालों को भी दिए गए आदेश
स्वास्थ्य मंत्री सौरभ भारद्वाज ने आगे कहा कि सीएम अरविंद केजरीवाल ने स्वास्थ्य विभाग को भी कई महत्वपूर्ण आदेश दिए हैं. सीएम ने सभी अस्पतालों को डेंगू मरीजों के लिए अलग से बेड्स रिजर्व करने का आदेश दिया है. अस्पतालों, डिस्पेंसरी, मोहल्ला क्लीनिक में डेंगू की दवाई उपलब्ध होनी चाहिए. सभी केमिस्ट और अस्पतालों को एडवाइजरी दी गई है कि बुखार में एस्प्रिन, डिस्प्रिन और इबोप्रोफेन जैसी दवाइयां न दी जाएं, क्योंकि इससे खून पतला होता है और इससे डेंगू और अधिक नुकसान पहुंचाता है. अस्पतालों को जीरो टालरेंस जोन घोषित किया गया है, ताकि वहां पर किसी प्रकार से मच्छर न पनप पाएं.
लगाया जाएगा फाइन
स्वास्थ्य मंत्री सौरभ भारद्वाज ने कहा कि अगर किसी के घर में मच्छर पनपते हुए पाए गए तो 1000 रुपए का चालान किया जाएगा. अगर किसी कमर्शियल स्थान पर मच्छर पाए जाते हैं तो उस पर 5000 रुपए का चालान किया जाएगा.
सौरभ भारद्वाज ने कहा कि कोरोना के समय में दिल्ली सरकार ने 1031 हेल्प लाइन नंबर जारी किया था. इस हेल्पलाइन नंबर को बदल कर अब डेंगू/कोरोना कर दिया गया है. अगर किसी को बुखार है तो वो इस हेल्पलाइन पर फोन कर डॉक्टर से बात कर सकता है और अन्य जानकारियां ले सकता है. जल्द ही एक कंट्रोल रूम भी चालू हो जाएगा, जो 24 घंटे खुला रहेगा. बुखार की पर्याप्त दवाइयां उपलब्ध कराने का निर्देश दिया गया है.
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