नई दिल्लीः आम आदमी पार्टी की सरकार की ओर से कन्हैया कुमार को बड़ी राहत मिल सकती है. केजरीवाल सरकार दिल्ली पुलिस की उस मांग को खारिज कर सकती है जिसमें जेएनयू के पूर्व छात्रसंघ अध्यक्ष और बेगूसराय से लेफ्ट पार्टी के उम्मीदवार रहे कन्हैया कुमार पर देशद्रोह का मुकदमा चलाने की अनुमति मांगी थी. कन्हैया कुमार को लेकर 18 सितंबर को कोर्ट में सुनवाई हो सकती है.


सूत्रों के मुताबिक ''केजरीवाल सरकार मानती है कि इस मामले में दिल्ली पुलिस ने जो सबूत पेश किए हैं उनके आधार पर देशद्रोह का मामला नहीं बनता है.''


बता दें कि 9 फरवरी साल 2016 में कन्हैया कुमार समेत कुल 10 छात्रों पर जेएनयू में राष्ट्र विरोधी नारे लगाने का आरोप लगा था. जिसके बाद हुए काफी हंगामे के बाद कन्हैया कुमार को गिरफ्तार करके तिहाड़ जेल भेज दिया गया था.


हालांकि, दिल्ली पुलिस ने जनवरी 2019 में इस मुद्दे को लेकर कोर्ट में चार्जशीट दायर की थी. चार्जशीट दायर करने के बाद कोर्ट ने दिल्ली पुलिस को जमकर फटकार लगाई थी. कोर्ट ने कहा था कि देशद्रोह के आरोपों पर दिल्ली सरकार की मंजूरी क्यों नहीं ली गई?


कोर्ट की फटकार के बाद दिल्ली पुलिस ने सरकार से देशद्रोह का मुकदमा चलाने की अनुमति मांगी थी. सरकार के स्टैंडिंग काउंसिल की बैठक के दौरान चर्चा हुई. स्टैंडिंग काउंसिल ने सरकार को बताया कि जो सबूत पेश किए गए हैं उसके आधार पर आरोपियों के खिलाफ देशद्रोह का मुकदमा नहीं चलाया जा सकता.


बताया जा रहा है कि स्टैंडिंग काउंसिल की इस सलाह को दिल्ली सरकार ने मान लिया है. जिसके बाद कयास लगाए जा रहे हैं कि अब केजरीवाल सरकार कन्हैया कुमार के खिलाफ देशद्रोह की इजाजत नहीं देगी.


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