AAP के अयोग्य करार दिए गए 20 विधायकों की याचिका पर हाईकोर्ट का फैसला कल
विधायकों ने पीठ से यह भी आग्रह किया कि इस मामले को नये सिरे से सुनने के निर्देश के साथ वापस आयोग के पास भेजा जाए. उन्होंने हाईकोर्ट में उनकी अयोग्यता को उस समय चुनौती दी थी जब राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद ने आयोग की सिफारिशों को अपनी मंजूरी दे दी थी.
नई दिल्ली: आम आदमी पार्टी के 20 विधायकों को लाभ के पद पर होने की वजह से अयोग्य घोषित करने के खिलाफ दायर याचिका पर दिल्ली उच्च न्यायालय का फैसला कल आने की संभावना है. इन विधायकों को संसदीय सचिव नियुक्त किया गया था. न्यायमूर्ति संजीव खन्ना और न्यायमूर्ति चंद्र शेखर की पीठ ने 28 फरवरी को इस मामले में सुनवाई पूरी करने के बाद कहा था कि इस पर फैसला बाद में सुनाया जाएगा. इस मामले में कोर्ट ने विधायकों, चुनाव आयोग और अन्य पक्षों की दलीलें सुनी थीं.
सुनवाई के दौरान विधायकों ने अदालत से कहा था कि कथित रूप से लाभ का पद रखने पर उन्हें अयोग्य ठहराए जाने का आयोग का आदेश नैसर्गिक न्याय का पूरा उल्लंघन है. उन्हें आयोग के सामने अपनी स्थिति स्पष्ट करने का मौका नहीं दिया गया.
विधायकों ने पीठ से यह भी आग्रह किया कि इस मामले को नये सिरे से सुनने के निर्देश के साथ वापस आयोग के पास भेजा जाए. उन्होंने हाईकोर्ट में उनकी अयोग्यता को उस समय चुनौती दी थी जब राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद ने आयोग की सिफारिशों को अपनी मंजूरी दे दी थी.