Bangladesh Violence: बांग्लादेश में आरक्षण विरोधी प्रदर्शनों के चलते काफी ज्यादा हिंसा देखने को मिली है. शेख हसीना प्रधानमंत्री पद से इस्तीफा देने के बाद भारत में शरण ले चुकी हैं. बांग्लादेश की सेना ने छात्र आंदोलन के नेतृत्व करने वाले लोगों और सभी दलों से बातचीत कर अंतरिम सरकार के लिए हरी झंडी दे ही है. नोबेल शांति पुरस्कार विजेता मोहम्मद यूनुस को अंतरिम सरकार का प्रमुख नियुक्त किया गया है. इसे लेकर भारत के एक अन्य नोबेल विजेता कैलाश सत्यार्थी ने उन्हें बधाई दी है. 


नोबेल शांति पुरस्कार से सम्मानित कैलाश सत्यार्थी ने मोहम्मद यूनुस के साथ अपनी एक तस्वीर भी शेयर की. सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म एक्स पर उन्होंने कहा, "प्रिय यूनुस दादा को हार्दिक बधाई. बांग्लादेश को शांति और स्थिरता के रास्ते पर ले जाने के लिए उनसे बेहतर कोई नेता नहीं हो सकता. लोकतंत्र को बहाल करने, समावेशी विकास को बढ़ावा देने और सोनार बांग्ला के निर्माण के लिए दुनिया आपकी ओर देख रही है." कैलाश सत्यार्थी को 2014 में नोबेल पुरस्कार से नवाजा गया था. 




चार घंटे तक चली बैठक के बाद फाइनल हुआ मोहम्मद यूनुस का नाम


दरअसल, बांग्लादेश के राष्ट्रपति मोहम्मद शहाबुद्दीन ने मंगलवार (6 अगस्त) को मोहम्मद यूनुस को अंतरिम सरकार का प्रमुख नियुक्त किया है. राष्ट्रपति शहाबुद्दीन ने सरकार के मुखिया के तौर पर यूनुस की नियुक्ति को लेकर भेदभाव विरोधी छात्र आंदोलन के 13 सदस्यीय प्रतिनिधिमंडल के साथ बैठक की थी, जिसके बाद उन्होंने अपना फैसला लिया. मीटिंग में बांग्लादेश की वायुसेना, थल सेना और नौसेना के प्रमुख भी मौजूद थे. ये बैठक राजधानी ढाका में चार घंटे तक चली थी. 


शेख हसीना के विरोधी हैं मोहम्मद यूनुस


मोहम्मद यूनुस को 2006 में नोबेल पुरस्कार से सम्मानित किया गया था. उनकी गिनती शेख हसीना के विरोधियों के तौर पर होती है. वह कई मौकों पर सरकार की आलोचना कर चुके थे. यूनुस के प्रवक्ता ने कहा कि छात्रों की लंबे समय से मांग थी कि अंतरिम सरकार का मुखिया उन्हें बनाया जाए, जिसे उन्होंने स्वीकार कर लिया है. फिलहाल मोहम्मद यूनुस पेरिस में इलाज करवा रहे हैं और वह जल्द ही वतन लौटने वाले हैं. 


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