नई दिल्ली: राष्ट्रीय राजधानी दिल्ली के मुखर्जी नगर इलाके में टेम्पो चालक सरबजीत सिंह की पुलिस द्वारा कथित पिटाई मामले पर आज दिल्ली हाई कोर्ट में सुनवाई हुई. सुनवाई के बाद दिल्ली हाई कोर्ट ने दिल्ली पुलिस और गृह मंत्रालय को नोटिस जारी किया है. हाई कोर्ट ने मुखर्जी नगर की घटना पर एक सप्ताह में स्थिति रिपोर्ट मांगी है.


इसके साथ ही दिल्ली हाई कोर्ट ने निर्देश दिया है कि मीडिया ऑटो चालक सरबजीत के बेटे की पहचान को उजागर नहीं कर सकता. कोर्ट ने कहा, '' दिल्ली पुलिस में कई अच्छे अधिकारी हैं. अगर कुछ ऐसे हैं जो खुद पर नियंत्रित नहीं रख सकते हैं तो उनके खिलाफ कार्रवाई करने की जरूरत है. जिन्होंने पिता पर हमला किया वे अलग हैं लेकिन जिन्होंने बच्चे को बर्बरतापूर्ण तरीके से मारा उनकी पहचान करें."





कोर्ट ने आगे कहा, "हमारी चिंता मुख्य रूप से यह है कि नागरिकों को इस बात को लेकर आश्वास्त किया जाना चाहिए कि पुलिस बल उनके साथ है. खासकर बच्चों को आश्वस्त किया जाना चाहिए. पुलिस ने बताया है कि आरोपी अधिकारियों के खिलाफ एफआईआर दर्ज कर ली गई है और मामले को क्राइम ब्रांच के पास ट्रांसफर कर दिया गया है.'' इस मामले की अगली सुनवाई दो जुलाई को होगी.


गृह मंत्रालय को रिपोर्ट मिली

इससे पहले मंगलवार को दिल्ली पुलिस ने ‘पिटाई’ के संबंध में अपनी रिपोर्ट केंद्रीय गृह मंत्रालय को सौंप दी है. एक अधिकारी ने बताया कि समझा जाता है कि इस रिपोर्ट में दो प्राथमिकियों का जिक्र होगा. एक प्राथमिकी टेम्पो चालक की शिकायत पर जबकि दूसरी प्राथमिकी घटना में घायल पुलिसकर्मी की शिकायत पर की गयी है. टेम्पो चालक के कथित हमले में पुलिसकर्मी के सिर पर सात सेंटीमीटर का गहरा घाव लगा है.


अधिकारी ने बताया कि दिल्ली पुलिस की ओर से तीन पुलिसकर्मियों के खिलाफ उनके गैर पेशेवर रवैये के लिए की गयी कार्रवाई के बारे में भी इस रिपोर्ट में संभवत: बताया गया है. इस बीच रिपोर्ट में एक पुलिसकर्मी की तारीफ भी की गयी है जो सादे कपड़े में था और उसने स्थिति नियंत्रित करने की कोशिश की.


ऐसी संभावना है कि रिपोर्ट में इस बात का भी जिक्र किया गया होगा कि टेम्पो चालक ने पुलिसकर्मियों को उकसाया था. एक अन्य अधिकारी ने बताया कि दिल्ली पुलिस आयुक्त अमूल्य पटनायक केंद्रीय गृह सचिव राजीव गौबा से मिले और उन्हें रिपोर्ट सौंपी.


सरबजीत पर पहले भी लगे हैं मारपीट के आरोप


जिस ऑटो ड्राइवर सरबजीत की पिटाई को लेकर विवाद हो रहा है उसके खिलाफ पहले भी केस दर्ज हैं. उसपर बंगला साहिब गुरुद्वारा के ‘सेवादार’ पर हमला करने का मामला दर्ज हुआ था. ड्राइवर सरबजीत सिंह पर दिल्ली पुलिस ने 2006, 2011 और 2013 में ऐहतियाती धाराओं (107/151 सीआरपीएफ) के तहत मामला दर्ज हुआ था.


इस साल अप्रैल में, सिंह ने सेवादार मंगल सिंह पर कथित रूप से हमला उस समय किया था जब मंगल ने उससे पूछा था कि वह और उसका बेटा बीते तीन चार दिन से सरोवर के पास क्यों सो रहे हैं. मंगल ने अपनी शिकायत में कहा कि जब उसने और उसके साथियों ने उनसे उनका रहने का स्थान और यह पूछा कि वह वहां क्यों सो रहे हैं, चालक गुस्से में आ गया. इसके बाद उसने शिकायतकर्ता पर हमला कर दिया था.


क्या है पूरा मामला


आपको बता दें कि दिल्ली के मुखर्जी नगर क्षेत्र में रविवार की शाम टेम्पो चालक सरबजीत सिंह की पुलिसकर्मियों के साथ हुई मारपीट का वीडियो सोशल मीडिया पर वायरल हो गया था. घटना के एक कथित वीडियो में टेम्पो चालक तलवार के साथ पुलिसकर्मी का पीछा करते नजर आ रहा है. एक अन्य वीडियो में पुलिसकर्मियों को उसकी ‘पिटाई’ करते हुए देखा जा सकता है.


पुलिस ने बताया कि टेम्पो चालक के वाहन और पुलिस के वाहन के बीच टक्कर होने के बाद मारपीट की यह घटना हुई. इस घटना में आठ पुलिसकर्मी घायल हो गए. उन्होंने कहा कि वह टेम्पो चालक को पीछे से पकड़ने की कोशिश कर रहे थे क्योंकि चालक सामने से अन्य पुलिसकर्मियों पर हमले कर रहा था. हालांकि जब अधिकारी चालक पर नियंत्रण करने में सफल रहे तो चालक का बेटा वहां आ गया और उसके साथ ही मारपीट हुई.


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