दिल्ली पुलिस (Delhi Police) की स्पेशल सेल की साइबर यूनिट (आईएफएसओ) ने सोशल मीडिया (Social Media) पर प्रचारित की जा रही पोस्ट को लेकर मामला दर्ज किया है. पुलिस का कहना है कि 9 दिसंबर 2021 को आयोजित हुई एक कैबिनेट मीटिंग (जो देश के पहले सीडीएस बिपिन रावत (Bipin Rawat) की मौत के बाद हुई थी) का वीडियो कई न्यूज़ पोर्टल पर जारी किया गया, लेकिन किसी ने दुष्प्रचार करते हुए आपसी भाई चारे को नुकसान पहुंचाने के इरादे से उस वीडियो के साथ छेड़छाड़ करते हुए उसमें नया वॉइस ओवर किया गया.
क्या है उस वीडियो में?
आईएफएसओ के डीसीपी केपीएस मल्होत्रा (KPS Malhotra) का कहना है कि उस फर्जी वीडियो (Fake Video) को तैयार करने वालों ने वीडियो के माध्यम से ये संदेश देने का प्रयास किया कि ये मीटिंग सिख समुदाय के खिलाफ की गई थी. उस वीडियो में जो आवाज आ रही है, उसमें जो बात कही जा रही है वह सिख समुदाय के खिलाफ है. लेकिन ऐसी किसी भी मीटिंग में कोई चर्चा नहीं की गयी थी. इस तरह के दुषप्रचार प्रसार के लिए आईपीसी की धारा 153A के तहत मामला बनता है. पुलिस ने इस बाबत एफआईआर दर्ज की है.
पीआईबी (PIB) ने भी अपने ट्विटर हैंडल पर इस वीडियो से जुड़े ट्वीट का स्क्रीनशॉट शेयर करते हुए फैक्ट चेक में फर्जी करार दिया है.
इन दो ट्विटर हैंडल की पुलिस ने दी जानकारी
पुलिस का कहना है कि जिन ट्विटर हैंडल से इस वीडियो को प्रसारित किया गया, वे @simrankaur0507 और @eshalkaur1 है. पुलिस मामले की जांच कर रही है. साथ ही पुलिस ने ये अपील की कि ऐसे किसी भी वीडियो पर विश्वास न करें. बल्कि ऐसे किसी भी वीडियो का फैक्ट चेक जरूर करें.
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