नई दिल्ली: आम आदमी पार्टी से निष्कासित पार्षद ताहिर हुसैन को लेकर दिल्ली पुलिस ने सफाई दी है. पुलिस ने कहा कि ताहिर हुसैन को भीड़ के बीच से रेस्क्यू नहीं किया गया था बल्कि वह अपने घर पर ही थे. पुलिस ने बताया कि वह अपने घर पर सेफ थे. इससे पहले ये जानकारी सामने आई थी कि ताहिर हुसैन दंगे में भीड़ में फंसे थे और उसे पुलिस ने रेस्क्यू किया था.


ताहिर हुसैन के जल्द से जल्द गिरफ्तार करने की कोशिश- दिल्ली पुलिस


आज दिल्ली पुलिस के पीआरओ ने एमएस रंधावा कहा कि कुछ मीडिया रिपोर्ट्स हैं कि ताहिर हुसैन को पुलिस ने बचाया था. सच्चाई यह है कि 24 फरवरी की रात को हमें सूचना मिली कि एक पार्षद फंस गया है और घिरा हुआ है लेकिन जब पुलिस ने जांच की तो वह अपने घर पर पाया गया. इसके साथ ही उन्होंने कहा कि 26 फरवरी को जब अंकित शर्मा का शव मिला और उनके परिवार ने आरोप लगाए, ताहिर मुख्य आरोपी बन गए. इसके बाद ताहिर के घर की तलाशी ली गई और सबूत इकट्ठा किए गए. पुलिस छापेमारी कर रही है और जल्द से जल्द उसे गिरफ्तार करने की कोशिश कर रही है.



एफआईआर दर्ज होने के बाद से ही फरार हैं ताहिर हुसैन


बता दें कि हिंसा में मारे गए आईबी अधिकारी अंकित शर्मा के पिता ने ताहिर हुसैन के खिलाफ शिकायत थी थी जिसके बाद उनके खिलाफ एफआईआर दर्ज किया गया. 27 फरवरी को ताहिर के खिलाफ एफआईआर दर्ज की गई, तब से ही वह फरार हैं.


हिंसा के आरोपों पर ताहिर हुसैन ने सफाई देते हुए कहा था कि उन्हें फंसाया जा रहा है और उनकी जान को खतरा है. उन्होंने ये भी कहा कि था कि पुलिस को निष्पक्ष जांच करनी चाहिए. ताहिर ने पुलिस जांच में सहयोग करने की बात कही थी लेकिन एफआईआर दर्ज होने के बाद से फरार हैं. ताहिर हुसैन ने दावा किया था कि जब हिंसा हो रही थी तो उन्होंने पुलिस को कई बार कॉल किया था. इतना ही नहीं उन्होंने ये भी दावा किया था कि पुलिस की मौजूदगी में उन्हें वहां से बाहर निकाला गया था.