ABP न्यूज़-सी वोटर सर्वे: 2019 लोकसभा चुनाव में दिल्ली की गद्दी पर बैठने के लिए सभी पार्टियों की तैयारी शुरू हो चुकी हैं. ऐसे में राजनीतिक हलकों में जोड़ तोड़ का सियासी गणित शुरू हो चुका है. लोकसभा चुनाव होने में अब सिर्फ दो महीनों का वक्त बचा है. ऐसे राजनीतिक माहौल में एबीपी न्यूज ने सी-वोटर के साथ मिलकर देश की सियासी नब्ज टटोलने की कोशिश की है. सर्वे के मुताबिक सत्ताधारी एनडीए को बड़ा झटका लग सकता है, जबकि यूपीए के पहले से बेहतर प्रदर्शन करने के अनुमान हैं, लेकिन सत्ता की दौड़ में काफी पीछे रह जाएगी. अन्य क्षेत्रीय दलों के खाते में काफी सीटें जा रही हैं और अगली सरकार बनाने में इन दलों की बड़ी भूमिका होगी.
सर्वे के मुताबिक 543 लोकसभा सीटों में से एनडीए को 233 सीटों पर जीत मिल सकती है. वहीं यूपीए 167 सीटों पर अपना परचम लहराएगा और अन्य दलों को 143 सीटें मिलने की उम्मीद है. यानि कोई भी दल या गठबंधन बहुमत के जादुई आंकड़े 272 को छूने या पार करने की स्थिति में नहीं हैं. याद रखने की बात है कि एनडीए जो 233 सीटें जीत सकती है उसमें बीजेपी का हिस्सा 203 होगा. इसी तरह यूपीए की झोली में जो 167 सीटें जा सकती हैं उसमें कांग्रेस का हिस्सा 109 सीटों का होगा.
किसको कितना वोट शेयर?
वोट शेयर की बात करें तो 543 लोकसभा सीटों पर एनडीए को यूपीए से मात्र 6 फीसदी वोट ही ज्यादा मिल रहे हैं. सर्वे में एनडीए को 38 फीसदी, यूपीए को 32 फीसदी और अन्य को 30 फीसदी वोट मिल सकते हैं.
यूपी में बाजी मारेगा महागठबंधन!
लोकसभा चुनाव में सबसे ज्यादा सीटों वाला राज्य उत्तर प्रदेश है और यहां से जो पार्टी ज्यादा सीटें जीतती है उसे केंद्र की सरकार में आने की संभावनाएं काफी बढ़ जाती हैं. इसी बीच कांग्रेस ने प्रियंका गांधी को सक्रिय राजनीति में उतारकर बड़ा दांव चल दिया है. यूपी में कुल 80 सीटें हैं और एबीपी न्यूज़-सी वोटर सर्वे के मुताबिक आज यहां चुनाव होते हैं तो यूपीए चार सीटों पर सिमट जाएगा वहीं 2014 में बड़ा कमाल करने वाला एनडीए को भारी नुकसान होगा और वह 25 सीटों (बीजेपी 24 +अपना दल 1) पर रुक जाएगा. वहीं, अखिलेश-मायावती का महागठंबधन 51 सीटें जीत सकता है. सर्वे के मुताबिक एनडीए को इस बार 48 सीटों का नुकसान हो रहा है.
बिहार में नीतीश के साथ से मजबूत होगा एनडीए!
सिर्फ यूपी ही नहीं उसका पड़ोसी राज्य बिहार भी राजनीतिक दलों के लिए काफी अहम है. सर्वे के मुताबिक अगर बिहार की 40 सीटों पर अभी चुनाव होते हैं तो एनडीए को 35 और महागठबंधन को महज पांच सीटें मिलने का अनुमान है. वहीं अन्य अपना खाता भी नहीं खोलते दिख रहे हैं. यानी सर्वे में जो आंकड़े सामने आ रहे हैं वो ये साफ बता रहे हैं कि नीतीश कुमार के वापस आने से एनडीए को फायदा हो रहा है.
बंगाल में ममता के सामने फिका पड़ा मोदी का जादू
पश्चिम बंगाल की बात करें तो यहां मुख्यमंत्री ममता बनर्जी का जादू अभी भी बरकरार है. सर्वे के मुताबिक, राज्य में कुल 42 लोकसभा सीटों में से टीएमसी के खाते में 34, बीजेपी को 7 और कांग्रेस को एक सीट मिल सकती है. राज्य में वामपंथी दलों की स्थिति बेहद खराब दिख रही है.
मध्य प्रदेश और राजस्थान में NDA, छत्तीसगढ़ में UPA आगे
हाल ही में कांग्रेस ने राजस्थान, मध्य प्रदेश और छत्तीसगढ़ में बीजेपी को हराकर सरकार बनाई है. बावजूद इसके लोकसभा चुनावों में कांग्रेस नीत यूपीए को एनडीए से कम सीटें मिलने का अनुमान है. सर्वे के मुताबिक, मध्य प्रदेश की 29 सीटों में से एनडीए को 23 और यूपीए को 6 सीटें मिलने सी संभावना है. वहीं, राजस्थान की 25 सीटों में से एनडीए के खाते में 18 तो यूपीए के खाते में 7 सीटें जा सकती है. छत्तीसगढ़ की 11 सीटों में से एनडीए को पांच और यूपीए को 6 सीटें मिलने की उम्मीद है.
एबीपी न्यूज-सी वोटर सर्वे के मुताबिक, महाराष्ट्र में यूपीए इस बार बेहतर प्रदर्शन कर सकती है. महाराष्ट्र में शिवसेना एनडीए के साथ और एनसीपी यूपीए के साथ चुनाव लड़े तो एनडीए के हिस्से 20 तो यूपीए के हिस्से 28 सीटें मिलने की संभावना बनती दिख रही है. लेकिन यदि सभी दल अलग-अलग चुनाव लड़ें तो बीजेपी 16, शिवसेना 4, कांग्रेस 19 और एनसीपी को 9 सीटें मिल सकती हैं. राज्य में कुल 48 लोकसभा सीट हैं.
गुजरात में मोदी का जादू बरकरार
एबीपी न्यूज-सी वोटर सर्वे के मुताबिक, गुजरात में अभी भी प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी का जादू बरकरार है. सर्वे में राज्य की 26 लोकसभा सीटों में एनडीए को 24 और यूपीए को मात्र दो सीटें मिलती दिखाई दे रही हैं.
झारखंड में बीजेपी को सीटों का नुकसान
एबीपी न्यूज़-सी वोटर ने सर्वे के जरिए झारखंड की जनता की नब्ज टटोलने की कोशिश की है. इस सर्वे के मुताबिक अगर अभी चुनाव होते हैं तो एनडीए को पांच सीटें मिल सकती हैं. वहीं यूपीए को आठ और जेवीएम को एक सीट मिलती दिख रही है. यूपीए में जेएमएम और कांग्रेस शामिल हैं. सर्वे के मुताबिक कांग्रेस को तीन और जेएमएम (झारखंड विकास मोर्चा)को पांच सीटें मिल सकती हैं.
दक्षिण में एनडीए पर भारी है यूपीए
दक्षिण भारत में अब भी एनडीए की नो एंट्री है. तमिलनाडु, केरल, आंध्र, तेलंगाना, कर्नाटक को मिलाकर कुल 129 लोकसभा सीटें हैं जिसमें से एनडीए के खाते में सिर्फ 14 सीटें, यूपीए को 69 जबकि अन्य के खाते में 46 सीटें जाती हुई दिख रही है.
पूर्वोत्तर NDA के लिए गुड न्यूज़
पूर्वोत्तर राज्यों असम, अरुणाचल, मणिपुर, मेघालय, मिजोरम, नागालैंड, सिक्किम, त्रिपुरा में एनडीए के लिए अच्छी खबर है. सर्वे के मुताबिक, 25 लोकसभा सीटों वाले इन राज्यों में एनडीए को 14, यूपीए को 9 और अन्य को 2 सीटें मिलने की संभावना है. सीटों के लिहाज से पूर्वोत्तर से पीएम मोदी के लिए बेहद अच्छी खबर है. अकेले असम की बात करें तो यहां की 14 सीटों में से एनडीए को 6, यूपीए को 7 और अन्य को एक सीट मिल सकती है.
बाकी राज्यों का क्या है हाल?
ओडिशा- सर्वे के मुताबिक, 21 लोकसभा सीटों वाले ओडिशा में बीजेपी को 12, कांग्रेस को तीन और बीजेडी को 6 सीटें मिलने का अनुमान है.
गोवा- सर्वे के मुताबिक, 2 लोकसभा सीटों वाले गोवा में बीजेपी को एक और कांग्रेस को भी एक सीट मिलने का अनुमान है.
उत्तर भारत- सर्वे के मुताबिक, पंजाब, हरियाणा, दिल्ली, हिमाचल, जम्मू कश्मीर और उत्तराखंड की 45 सीटों में से एनडीए को 26 और यूपीए को 19 सीटें मिलने का अनुमान है.
यहां सिर्फ पंजाब की बात करें तो यहां यूपीए एनडीए पर भारी पड़ रहा है. 13 सीटों में से एनडीए को एक और यूपीए को 12 सीटें मिलेने का अनुमान है. वहीं, हरियाणा की बात करें तो यहां एनडीए को सात और यूपीए को तीन सीटें मिलने का अनुमान है.
राजधानी दिल्ली में AAP- जीरो, BJP को सभी सात सीटें
राजधानी दिल्ली में सत्ताधारी आम आदमी पार्टी के लिए बुरी खबर है. यहां लोकसभा की सात सीटों में से आप एक भी सीट पर जीतती हुई नहीं दिख रही है. यही स्थिति कांग्रेस की भी है. जबकि राज्य की सभी सात सीटें बीजेपी के खाते में जाती हुई दिखाई दे रही हैं.
NDA में कौनसी-कौनसी पार्टियां हैं?
सत्तारूढ़ एनडीए में बीजेपी, शिवसेना, अकाली दल, जद(यू), मिजो नेशनल फ्रंट, अपना दल, सिक्किम डेमोक्रेटिक फ्रंट, रामविलास पासवान की लोजपा, मेघालय की एनपीपी, पुदुचेरी की आईएनआरसी, नागालैंड की पीएमके और एनडीपीपी शामिल हैं.
यूपीए में कौनसी-कौन सी पार्टियां हैं?
यूपीए में कांग्रेस, राष्ट्रीय जनता दल, डीएमके, टीडीपी, शरद पवार की एनसीपी, जेडीएस, नेशनल कॉन्फ्रेंस, आरएलएसपी, जेएमएम, आईयूएमएल, केरल कांग्रेस (मैनी) और आरएलएसपी शामिल हैं.
महागठबंधन में कौनसी-कौनसी पार्टियां शामिल हैं?
महागठबंधन में अखिलेश यादव की समाजवादी पार्टी, मायावती की बहुजन समाज पार्टी और अजीत सिंह की आरएलडी शामिल है.
अन्य में में कौनसी-कौनसी पार्टियां हैं?
एआईएडीएमके, टीएमसी, तेलंगाना राष्ट्र समिति, बीजू जनता दल, वाईएसआर कांग्रेस पार्टी, लेफ्ट फ्रंट, पीडीपी, एआईयूडीएफ, एआईएमआईएम, आईएनएलडी, आम आदमी पार्टी, जेवीएम(पी), एएमएमके और निर्दलीय सांसद.
कैसे हुआ सर्वे?
बता दें कि ये सर्वे देश की सभी 543 लोकसभा सीटों पर किया गया है. इस दौरान 22 हजार तीन सौ नौ लोगों से बातचीत की गई.
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