नई दिल्ली: दिल्ली यूनिवर्सिटी छात्र संघ चुनाव के नतीजों को दिल्ली हाईकोर्ट में चुनौती दी गई है. एनएसयूआई उम्मीदवारों की याचिका पर सुनवाई करते हुए हाईकोर्ट ने चुनाव आयोग, दिल्ली विश्वविद्यालय, केंद्र सरकार, चीफ इलेक्टोरल ऑफीसर और चुनाव जीते एबीवीपी के तीनों उम्मीदवारों को नोटिस जारी किया है. इसके साथ ही अगली सुनवाई तक ईवीएम को सुरक्षित रखने का आदेश भी दिया है.
डूसू चुनावों में तीन पद पर हार का सामना करने वाले एनएसयूआई के उम्मीदवारों ने दिल्ली हाईकोर्ट में डूसू चुनावों के नतीजों को चुनौती दी थी और उन तीनों उम्मीदवारों की याचिका पर सुनवाई करते हुए दिल्ली हाईकोर्ट ने ये नोटिस जारी किया है. मामले की अगली सुनवाई 29 अक्टूबर को होगी.
चुनाव आयोग ने दी थी सफाई
चुनावों में ईवीएम को लेकर विवाद हुआ था. इसपर चुनाव आयोग ने साफ किया था कि दिल्ली यूनिवर्सिटी प्रशासन ने जिन ईवीएम का इस्तेमाल डूसू चुनाव में किया है वह चुनाव आयोग की ईवीएम नहीं हैं. चुनाव आयोग की ईवीएम उससे कहीं अलग होती हैं.
DU छात्रसंघ चुनावों के नतीजों पर नजर
दिल्ली विश्वविद्यालय छात्र संघ चुनाव के नतीजों में अध्यक्ष, उपाध्यक्ष और संयुक्त सचिव के पद पर एबीवीपी कब्जा जमाने में कामयाब रही थी तो सचिव पद पर एनएसयूआई ने जीत दर्ज की थी. एबीवीपी के अंकिव बसोया अध्यक्ष, शक्ति सिंह उपाध्यक्ष, ज्योति चौधरी संयुक्त सचिव और एनएसयूआई के आकाश चौधरी सचिव का चुनाव जीते थे.
अध्यक्ष पद के लिए अंकिव बसोया को 20,467 वोट मिले, जबकि उनके मुकाबले एनएसयूआई के सनी को 18,723 वोट मिले. उपाध्यक्ष पद के लिए एबीवीपी के शक्ति सिंह को मिले 23,046 वोट, जबकि एनएसयूआई की लीना को 15,000 को वोट मिले थे. सचिव के पद पर एनएसयूआई के आकाश चौधरी को 20,198 वोट मिले, जबकि एबीवीपी के सुधीर डेढ़ा ने 14,109 वोट हासिल किए थे. वहीं संयुक्त सचिव के लिए एबीवीपी की ज्योति चौधरी को 19,353 वोट मिले, जबकि एनएसयूआई के सौरभ यादव को 14,381 वोट मिले थे.
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