नई दिल्ली: एबीपी न्यूज़ के e-शिखर सम्मेलन में कांग्रेस के राज्यसभा सांसद अभिषेक मनु सिंघवी ने मोदी सरकार 2.0 के पहले साल के काम काज को 1 या 2 नंबर देने से भी इनकार कर दिया. उन्होंने कहा कि वैसे तो नंबर देने का कोई वैज्ञानिक तरीका नहीं है, लेकिन दूसरे कार्यकाल को वास्तव में सही रूप से एक, दो नंबर देने की भी क्षमता नहीं बनती.
सिंघवी ने कहा कि पहला कार्यकाल जब शुरू किया था, तब कुछ मुद्दे थे, जब नंबर बन सकते थे. वर्तमान समय में उन्होंने मोदी सरकार से कुछ सवाल किए. उन्होंने पूछा कि आपने क्या आर्थिक उपलब्धि की? इसी तरह उन्होंने सामाजिक कार्यों और राजनैतिक उपलब्धियों पर भी सरकार से सवाल किया.
अभिषेक मनु सिंघवी ने देश की सामाजिक स्थिति की चर्चा करते हुए कहा कि अविश्वास है, अलग अलग वर्गो में वर्गीकरण है. मतभेद नहीं मनभेद है और एक वर्ष में इतनी उथल पुथल मचाई है, जितनी अर्सों से नहीं हुई थी. इसके अलावा उन्होंने आर्थिक स्थिति का भी ज़िक्र किया. उन्होंने बताया कि दो वर्ष से लगातार जीडीपी गिर रही है. अभी कोविड-19 से पहले बताया गया चार फीसदी अब तो एक या ज़ीरो फीसदी हो तो हम सौभाग्यवान रहेंगे.
उन्होंने विस्तार से आर्थिक स्थिति की चर्चा करते हुए कहा कि देश का एक्सपोर्ट्स ग्रोथ शून्य है. इस बीच उन्होंने ये साफ किया कि वो कोरोना महामारी से पहले की बात कर रहे हैं.
कश्मीर के हालात पर सरकार को घेरा
कांग्रेस सांसद सिंघवी ने कश्मीर के वर्तमान हालात को लेकर भी सरकार पर निशाना साधा. उन्होंने साल 2004 से 2014 के कांग्रेस कार्यकाल का हवाला देते हुए सरकार को घेरने की कोशिश की. सिंघवी ने कहा, "कश्मीर में चार से चौदह (2004 से 2014) 10 वर्ष जो आपने आर्थिक विकास देखी, पर्यटन के हिसाब से देखा और राष्ट्रीय सुरक्षा के चार मुद्दों पर देखा, जिनमें सीज़फायर उल्लंघन, सुरक्षाकर्मियों की मृत्यु, सिविलियन्स की मृत्यु इत्यादी. चारों मापदंड देख लीजिए."
सिंघवी ने आगे कहा, "आज, एक साल से आपको बंद (कश्मीर को) करना पड़ा है. इंटरनेट नहीं चल रहा है. लोग डिटेनशन में हैं और पर्यटन शून्य पर है. तो राजनैतिक क्या, सामाजिक क्या और आर्थिक क्या."