गंगटोक में पूर्व बैंक अधिकारी पर ED का एक्शन, मनी लॉन्ड्रिंग के मामले में 65.46 करोड़ की संपत्ति की अटैच
ED Action in Gangtok: इस मामले में जांच अभी जारी है. ED आगे भी सख्त कार्रवाई कर सकती है. इस केस में अब ये पता लगाया जा रहा है कि क्या इसमें और लोग भी शामिल हैं. पैसों को कहां-कहां इस्तेमाल किया गया.

ED Action in Gangtok: प्रवर्तन निदेशालय (ED), गंगटोक ने धनशोधन निवारण अधिनियम (PMLA), 2002 के तहत बड़ी कार्रवाई करते हुए 65.46 करोड़ रुपये की संपत्तियां अटैच की हैं. ये संपत्तियां राज्य बैंक ऑफ सिक्किम (SBS) के धन के गबन और मनी लॉन्ड्रिंग के मामले में शामिल दोरजी छेरिंग लेप्चा और उनके परिवार के नाम पर हैं.
किन संपत्तियों को अटैच किया गया?
ED ने चल और अचल संपत्तियां जब्त की हैं, जिनमें शामिल हैं:
- सिक्किम के देओराली, स्यारी, रानीपूल और पेनलोंग में स्थित आवासीय इमारतें और जमीन
- बैंक बैलेंस और फिक्स्ड डिपॉजिट जो दोरजी छेरिंग लेप्चा और उनके परिवार के सदस्यों के नाम पर थे, जिसमें करीब 53.41 करोड़ रुपये भी जब्त किए गए है.
क्या है मामला?
ED की जांच में सामने आया है कि दोर्जी शेरिंग लेप्चा ने SBS में रहते हुए फर्जी बैंक अकाउंट बनाया और उसमें सरकारी फंड ट्रांसफर करवाए. ये फर्जी अकाउंट "AE Roads and Bridges Department, Government of Sikkim" के नाम पर खोला गया था. इस अकाउंट में जनरल लेजर (GL) के जरिए सेंट्रल बैंक ऑफ इंडिया और स्टेट बैंक ऑफ इंडिया के फंड को हेरफेर करके ट्रांसफर किया गया. इसके बाद ये पैसा दोर्जी शेरिंग लेप्चा, उनकी पत्नी, परिवार के अन्य सदस्यों और सहयोगियों के निजी अकाउंट्स में भेजा गया.
ED की कार्रवाई जारी
ED इस मामले की गहराई से जांच कर रही है कि क्या इसमें और लोग भी शामिल हैं. साथ ही यह भी देखा जा रहा है कि अवैध रूप से ट्रांसफर किए गए पैसों को कहां-कहां इस्तेमाल किया गया.
पहले भी हो चुकी हैं ऐसी कार्रवाईयां
देशभर में बैंकों के फंड की हेराफेरी और मनी लॉन्ड्रिंग के कई मामले सामने आ चुके हैं. ED और अन्य जांच एजेंसियां समय-समय पर ऐसे मामलों में कार्रवाई करती रही हैं.
ED की अपील – जनता सतर्क रहे
ED ने जनता से अपील की है कि अगर कोई बैंक अधिकारी संदिग्ध लेन-देन करता है या बैंक फंड के दुरुपयोग के संकेत मिलते हैं, तो तुरंत इसकी सूचना दें. इस तरह की ठगी से बैंकिंग सिस्टम को नुकसान पहुंचता है और आम जनता की मेहनत की कमाई पर असर पड़ता है. इस मामले में जांच अभी जारी है, और ED आगे भी सख्त कार्रवाई कर सकती है.
पहले CID-PS ने शुरू की थी जांच
इस मामले की जांच पहले CID-PS, गंगटोक ने शुरू की थी. जांच के दौरान ED ने 14 फरवरी 2025 को दोर्जी शेरिंग लेप्चा से जुड़े कई ठिकानों पर छापेमारी की थी. इस दौरान कई अहम दस्तावेज जब्त किए गए थे जो उनके द्वारा खरीदी गई संपत्तियों से जुड़े थे. साथ ही, 75 लाख रुपये के बैंक अकाउंट्स भी फ्रीज कर दिए गए थे.
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