राजस्थान-हरियाणा की सीमा पर किसान बैरिकेड तोड़कर आगे बढ़े, पुलिस ने आंसू गैस के गोले छोड़े
दिल्ली की तरफ जा रहे किसान शाहजहांपुर में पुलिस बैरिकैड तोड़कर आगे बढ़ गए. पुलिस ने किसानों को रोकने के लिए आंसू गैस के गोले छोड़े.
नई दिल्ली: कृषि कानूनों के खिलाफ किसानों का आंदोलन गुरुवार को लगातार 36वें दिन दिल्ली की सीमाओं पर जारी रहा. इस आंदोलन में शामिल होने के लिए अन्य जगहों से भी किसान आ रहे हैं.
आज ट्रैक्टर ट्रॉली में सवार होकर राष्ट्रीय राजधानी दिल्ली जा रहे किसानों ने राजस्थान सीमा पर शाहजहांपुर में पुलिस बैरिकैड तोड़कर आगे बढ़ गए. इस दौरान हरियाणा पुलिस ने पानी की बौछारें और आंसू गैस के गोले दागकर उन्हें रोकने का प्रयास किया.
पुलिस ने बताया कि करीब 25 ट्रैक्टर ट्रॉली पर सवार किसानों ने जहां हरियाणा पुलिस के बैकिकैड तोड़ दिए वहीं, अन्य किसान शाहजहांपुर -रेवाड़ी सीमा पर रुके रहे.
केंद्र सरकार के तीन नये कृषि कानूनों के खिलाफ यहां धरना दे रहे किसानों ने कई दिनों से मार्ग भी अवरुद्ध कर रखा है. मौके पर धरना दे रहे किसान नेताओं ने यह स्पष्ट किया कि जो प्रदर्शनकारी बल पूर्वक हरियाणा में प्रवेश किये हैं उनके इस कदम को लेकर वे सहमत नहीं हैं.
किसान महापंचायत के अध्यक्ष रामपाल जाट ने बताया कि आंदोलन शांतिपूर्ण तरीके से चल रहा था लेकिन कुछ किसान बल पूर्वक हरियाणा में प्रवेश कर गये और इसकी उन्हें उम्मीद नहीं थी. हरियाणा पुलिस के अधिकारियो ने बताया कि किसानों के एक समूह ने पुलिस के बैरिकेड को तोड़कर दिल्ली की तरफ बढ़ने का प्रयास किया . इनमें से अधिकतर युवा किसान थे .
पुलिस ने उन्हें रोकने का प्रयास किया और उन पर पानी की बौछारें की तथा आंसू गैस के गोले छोड़े . पुलिस ने बताया कि किसानों के नेताओं ने भी उनसे दिल्ली नहीं जाने का आग्रह किया . उन्होंने बताया कि किसानों के समूह ने ट्रैक्टर ट्रॉली के माध्यम से अवरोधकों को तोड़ दिया और उनमें से कुछ राज्य के क्षेत्र में प्रवेश कर गये हालांकि कुछ ही दूरी पर उन्हें रोक दिया गया .
रेवाड़ी के पुलिस अधीक्षक अभिषेक जोरवाल ने फोन पर पीटीआई भाषा को बताया, ‘‘कुछ युवा थे, जो ट्रैक्टर लेकर आये और उन्होंने अवरोधकों (बैरिकैड) को तोड़ दिया . हमने उन्हे रोकने का प्रयास किया और सामान्य रूप से उनके साथ पेश आये . हालांकि, वे आक्रामक थे और हिंसक हो गये . वह किसान नेताओं की भी नहीं सुन रहे थे .
एक अन्य पुलिस अधिकारी ने बताया कि समूह हिंसक हो गया उनमें से कम से कम एक ने बेहद खराब तरीके से ट्रैक्टर चलाने का प्रयास किया जिससे मौके पर मौजूद कुछ पुलिसकर्मियों का जीवन खतरे में पड़ गया. उन्हें रोकने का प्रयास करने वाले कुछ अन्य पुलिसकर्मी भी खतरे की जद में आ गये थे.
उन्होंने बताया कि शाहजहांपुर में पुलिस अवरोधकों को तोड़ने में कुल 25 ट्रैक्टर शामिल थे . इस बीच शहजहांपुर में किसान नेताओं ने शांतिपूर्ण आंदोलन की अपील की .
जाट ने कहा, ‘‘हम यहां शांतिपूर्ण तरीके से धरने पर बैठे हैं और अपने सदस्यों से हिंसा नहीं करने के लिये कह रहे हैं . हमने अपने कुछ सदस्यों को उनलोगों से बातचीत करने के लिये भेजा है जो हरियाणा में प्रवेश कर चुके हैं .’’ इस बीच नागौर के सांसद हुनमान बेनीवाल ने कहा कि यह कदम उठाने वाले युवक जरूरत से अधिक उत्साहित हैं .
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