Farmers Protest: राहुल-प्रियंका ने मोदी सरकार पर लगाया किसानों के प्रति ‘क्रूरता का व्यवहार’ करने का आरोप
केंद्र सरकार के तीन नए कृषि कानूनों के खिलाफ पिछले एक महीने से ज्यादा समय से अन्नदाता दिल्ली की सीमाओं पर डटे हुए हैं और विरोध-प्रदर्शन कर रहे हैं. वहीं कांग्रेस पार्टी के नेता राहुल गांधी कई बार ट्विटर पर कविताओं के माध्यम से किसानों की हौसलाफजाई करते रहे हैं. इस बार भी राहुल गांधी ने इस मसले पर सरकार को घेरते हुए ट्विटर पर कुछ पंक्तियां पोस्ट की हैं.
केंद्र सरकार के तीन नए कृषि कानूनों के खिलाफ पिछले एक महीने से ज्यादा समय से अन्नदाता दिल्ली की सीमाओं पर डटे हुए हैं और विरोध-प्रदर्शन कर रहे हैं. तीन कृषि कानूनों को रद्द करने की मांग को लेकर किसान संगठनों और सरकार के बीच 8वें दौर की बातचीत आज दोपहर 2 बजे विज्ञान भवन में होगी. इससे पहले 30 दिसंबर को हुई बातचीत सकारात्मक रही थी. कृषि कानूनों को वापस लेने और एमएसपी को कानूनी गारंटी देने के मुद्दों पर तो बात आगे नहीं बढ़ पाई लेकिन दो अन्य मुद्दों पर रजामंदी हो गई थी.
इन सबके बीच कांग्रेस पूरी तरह से किसानों का समर्थन कर रही हैं.कांग्रेस के पूर्व अध्यक्ष राहुल गांधी और पार्टी महासचिव प्रियंका गांधी वाद्रा ने सरकार एवं किसान संगठनों के बीच नए दौर की बातचीत से पहले सोमवार को आरोप लगाया कि सरकार सर्दी एवं बारिश के बीच सड़कों पर बैठे किसानों के प्रति क्रूरता का व्यवहार कर रही है.
बता दें कि कांग्रेस पार्टी के नेता राहुल गांधी कई बार ट्विटर पर कविताओं के माध्यम से किसानों की हौसलाफजाई करते रहे हैं. इस बार भी राहुल गांधी ने इस मसले पर सरकार को घेरते हुए ट्विटर पर कुछ पंक्तियां पोस्ट की हैं.
कांग्रेस नेता राहुल गांधी ने ट्विटर पर किसानों के लिए लिखा है
सर्दी की भीषण बारिश में,
टेंट की टपकती छत के नीचे,
जो बैठे हैं सिकुड़-ठिठुर कर
वो निडर किसान अपने ही हैं,
ग़ैर नहीं सरकार की क्रूरता के दृश्यों में,
अब कुछ और देखने को शेष नहीं.
सर्दी की भीषण बारिश में टेंट की टपकती छत के नीचे जो बैठे हैं सिकुड़-ठिठुर कर वो निडर किसान अपने ही हैं, ग़ैर नहीं सरकार की क्रूरता के दृश्यों में अब कुछ और देखने को शेष नहीं#KisanNahiToDeshNahi pic.twitter.com/DzWsLXygVf
— Rahul Gandhi (@RahulGandhi) January 4, 2021
कांग्रेस ट्विटर पर कविता पोस्ट कर मोदी सरकार पर साध रही निशाना
बता दें कि कांग्रेस लगातार किसान आंदोलन के मुद्दे पर केंद्र सरकार पर निशाना साध रही है. इससे पहले भी कई बार राहुल गांधी ट्विटर पर कविताएं पोस्ट कर मोदी सरकार को घेरते रहे हैं. हाल ही में राहुल गांधी ने किसान आंदोलन की तुलना चंपारण आंदोलन से भी कर दी थी.
प्रियंक गांधी ने भी ट्वीट कर सरकार को घेरा
वहीं प्रियंका ने ट्वीट कर आरोप लगाया, ‘‘सरकार एक तरफ तो किसानों को बातचीत के लिए बुलाती है दूसरी तरफ इस कड़कड़ाती ठंड में उन पर आंसू गैस के गोले बरसा रही है. इसी अड़ियल और क्रूर व्यवहार की वजह से अब तक लगभग 60 किसानों की जान जा चुकी है.’’ उन्होंने सवाल किया, ‘‘किसान इस क्रूर सरकार पर कैसे विश्वास करे?’’
आज सरकार और किसानों के बीच होनी है आठवें दौर की बातचीत
गौरतलब है कि तीन कृषि कानूनों के खिलाफ विरोध कर रहे किसानों और सरकार के बीच सात दौर की बातचीत हो चुकी है. आज दोपहर भी दो बजे आठवें दौर की वार्ता होनी है. सरकार किसानों की दो मांग पहले ही मान चुकी है. ठक में पराली जलाने पर जुर्माने के प्रावधान वाले अध्यादेश में बदलाव कर किसानों को उससे अलग रखने पर सहमति बन गई. वहीं प्रस्तावित बिजली विधेयक को फ़िलहाल टालने पर भी दोनों पक्षों में सहमति बन गई थी. हालांकि सरकार और किसानों के बीच गतिरोध की दो सबसे बड़े मुद्दे पर बातचीत वहीं की वहीं अटकी रही. अब सवाल ये उठ रहा है कि क्या आज सरकार के साथ किसानों की होने वाली अगले दौर की बातचीत के बाद आंदोलन खत्म हो जाएगा? वहीं किसान संगठनों ने बातचीत फेल होने पर आंदोलन तेज करने का ऐलान किया है.
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