लखनऊ: उत्तर प्रदेश के गेहूं किसानों को बिचौलियों से मुक्ति दिलाने के महत्वपूर्ण कदम के तहत योगी आदित्यनाथ सरकार ने मंगलवार को एक महत्वपूर्ण फैसला लिया. योगी सरकार ने कहा कि राज्य में पांच हजार गेहूं खरीद केन्द्रों के जरिए 80 लाख टन गेहूं की सीधी खरीद का फैसला किया.


किसानों के लिए 5000 गेहूं खरीद केंद्र बनाएगी यूपी सरकार 


मुख्यमंत्री योगी की अध्यक्षता में हुई राज्य मंत्रिपरिषद की कैबिनेट बैठक में तय किया गया है कि राज्य भर में सरकार पांच हजार गेहूं खरीद केन्द्र बनाएगी. राज्य कैबिनेट बैठक के बाद उर्जा मंत्री श्रीकांत शर्मा ने कहा, ‘‘अभी तक पांच लाख टन और आठ लाख टन की खरीद होती थी. हमारी सरकार ने 80 लाख टन गेहूं खरीद का लक्ष्य रखा है. चालीस लाख टन पहले चरण में और कुल लक्ष्य 80 लाख टन का रखा गया है.’’


किसानों की मांग पर बढाई जाएगी खरीद केंद्रों की संख्या


शर्मा ने बताया कि किसानों को उनके गेहूं के लिए 1625 रुपये प्रति क्विंटल का न्यूनतम समर्थन मूल्य (एमएसपी) तो मिलेगा ही, उसके अलावा दस रूपये प्रति क्विंटल के हिसाब से ढुलाई और लदाई का भी दिया जाएगा. उन्होंने बताया कि जिलाधिकारियों को आदेश जारी किये गये हैं कि अगर किसी जिले में किसानों की ज्यादा मांग है तो बिना देर किए उस जिले में खरीद केन्द्रों की संख्या बढायी जाए.


सभी खरीद केंद्रों पर पानी की व्यवस्था हो: श्रीकांत शर्मा 


शर्मा ने कहा कि सरकार सुनिश्चित करेगी कि सभी खरीद केन्द्रों पर पानी और पर्याप्त छाया की व्यवस्था हो. किसान से उसके आधार कार्ड या अन्य ऐसे ही दस्तावेज के आधार पर सीधी खरीद की जाए. धन सीधा उसके खाते में जमा कराया जाए और बिचौलियों से किसान को मुक्ति मिले. उन्होंने बताया कि मुख्यमंत्री योगी ने आश्वस्त किया है कि खरीद केन्द्र पर किसी भी तरीके से किसान का उत्पीड़न नहीं होने देंगे.