Farooq Abdullah On BJP: जम्मू कश्मीर में विधानसभा चुनाव को लेकर सभी पार्टियां रणनीति बनाने में जुटी है. इस बीच नेशनल कॉन्फ्रेंस के अध्यक्ष फारूक अब्दुल्ला ने गुरुवार (12 सितंबर) को बीजेपी पर निशाना साधा. इस दौरान फारूक अब्दुल्ला ने दावा किया कि जब 25 साल पहले दिल्ली जाने वाली इंडियन एयरलाइंस की फ्लाइट आईसी 814 को हाईजैक किया गया था. उन्होंने तत्कालीन बीजेपी के नेतृत्व वाली केंद्र सरकार से कहा था कि बंधकों को छोड़ने के बदले में तीन आतंकवादियों को न छोड़ा जाए.


इंडिया टुडे की रिपोर्ट के मुताबिक, बीजेपी पर निशाना साधते हुए नेशनल कॉन्फ्रेंस के अध्यक्ष फारूक अब्दुल्ला ने कहा, "उन्हें लगता है कि वे लगातार गलतियां करने के बावजूद देश को मजबूत करेंगे. 


जानें क्या है मामला?


24 दिसंबर साल 1999 को काठमांडू से उड़ान भरने के एक घंटे से भी कम समय बाद दिल्ली जाने वाले विमान का अपहरण कर लिया गया था. जिसमें अपहरणकर्ताओं की मांग के अनुसार, केंद्र ने मौलाना मसूद अजहर, अहमद उमर सईद शेख और मुश्ताक अहमद जरगर को रिहा कर दिया. ये सभी हाई-प्रोफाइल आतंकवादी थे. उस घटना के समय फारूक अब्दुल्ला जम्मू-कश्मीर के मुख्यमंत्री थे.


फारुख अब्दुल्ला ने BJP पर कसा तंज


इस दौरान जम्मू कश्मीर की राजधानी श्रीनगर में एक कार्यक्रम के दौरान फारूक अब्दुल्ला ने कहा, उस अपहरण कांड के चलते तत्कालीन बीजेपी सरकार ने "तीन आतंकवादियों को रिहा कर दिया था. आप उसका नतीजा देख रहे हैं. आतंकवादी गतिविधियां हो रही हैं. मैंने उस समय बीजेपी सरकार से कहा था कि ऐसा मत करो. उन्होंने मेरी बात नहीं सुनी. उन्हें लगता है कि वे लगातार गलतियां करने के बावजूद देश को मजबूत करेंगे.


केंद्र सरकार चीन के साथ बातचीत क्यों कर रही है?- फारूक अब्दुल्ला


आतंकवाद के मुद्दे को सुलझाने के लिए पाकिस्तान के साथ बातचीत पर नेशनल कॉन्फ्रेंस के अध्यक्ष फारूक अब्दुल्ला ने पूछा कि केंद्र सरकार चीन के साथ बातचीत क्यों कर रही है, जबकि सच ये है कि, बीजिंग ने भारत की "जमीन पर कब्जा" कर लिया है. अब्दुल्ला ने आगे कहा,' वाजपेयी ने कहा था कि मित्र बदले जा सकते हैं, लेकिन पड़ोसी नहीं. यदि आप उनके मित्र हैं, तो राष्ट्र प्रगति करेंगे.लेकिन यदि शत्रुता है, तो प्रगति रुक ​​जाएगी. जब विमान अपहरण हुआ तब अटल बिहारी वाजपेयी प्रधानमंत्री थे.


आतंकवाद को खत्म करने में फेल रही केंद्र सरकार


केंद्र के खिलाफ अपने हमलों को तेज करते हुए उन्होंने कहा कि अनुच्छेद 370 को निरस्त करने के बाद जम्मू-कश्मीर पर पूर्ण नियंत्रण होने के बावजूद वे आतंकवाद को नियंत्रित करने में विफल रहे.


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