कोलकता में बाघों की गणना में पहली बार बड़े शाकाहारी जीवों जैसे हिरण, हाथी की गणना की जाएगी. कोलकता में इसी साल बाघों की गणना होनी है. यह पहली बार होगा जब बाघों के साथ-साथ अन्य बड़े शाकाहारी जीवों की भी गणना की जाएगी. इसकी जानकारी बुधवार को मुख्य वन अधिकारी ने दी.
पहले होती थी सिर्फ बाघों की गणना
मुख्य वन्यजीव वार्डन देबल रॉय ने बताया कि पहले बाघों की गणना केवल बड़ी बिल्लियों को ध्यान में रखकर की जाती थी, लेकिन इस साल से बड़े शाकाहारी जीवों की संख्या को अखिल भारतीय समन्वित बाघ गणना द्वारा निर्धारित गणना में शामिल किया जाएगा.
उन्होंने बताया कि बाघों के निवास वाले जगह पारिस्थितिकी तंत्र के लिए शाकाहारी जीव का रहना भी महत्वपूर्ण है. इसलिए यह जानना जरूरी है कि वन क्षेत्र के अंदर बाघों के साथ और कितने शाकाहारी जीव रहते हैं.
वन्जीव वार्डन देबल रॉय ने बताया कि हिरण, गौर, गैंडा और हाथियों की गिनती क्षेत्र के आधार पर की जाएगी.
दिसंबर-जनवरी में हो सकती है बाघों की गणना
2019-20 के बाघों की जनसंख्या के बारे में बताते हुए रॉय ने कहा कि सुंदरवन में उस वक्त 95 बाघ थे. उन्होंने उम्मीद जताई है कि इस साल दिसंबर में बाघों के गिनती का काम शुरू हो जाएगा और यह जनवरी तक चलेगा. उन्होंने यह भी कहा कि इस साल बाघों कि संख्या में भी उछाल देखा जाएगा.
मुख्य वन्यजीव वार्डन रॉय ने कहा कि कैमरा ट्रैपिंग तकनीक के अलावा, अन्य सांख्यकीय मॉडल का प्रयोग कर सबसे संभावित आंकड़े और न्यूनतम संभावित आंकड़े तक पहुंचने के लिए किया जाएगा.
बाघों के गणना के बाद बाद भारतीय वाइल्डलाइफ संस्थान(WII) पूरे डाटा को अध्ययन करेगी.
उन्होंने बताया बाघों कि यह गणना सुंदरवन राष्ट्रीय उद्यान, बक्सा टाइगर रिजर्व, गोरुमारा राष्ट्रीय उद्यान, जलदापारा राष्ट्रीय उद्यान और छपरामारी राष्ट्रीय उद्यान को कवर किया जाएगा.
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