पूर्व राष्ट्रपति प्रणब मुखर्जी की सेहत में सुधार नहीं, अब भी वेंटिलेटर पर- आर्मी अस्पताल
प्रणब मुखर्जी अपने राजाजी मार्ग स्थित आवास पर गिरने के कारण चोटिल हो गए थे. जिसके बाद उनके मस्तिष्क में खून का थक्का जमने की शिकायत के चलते उन्हें सेना के रिसर्च एंड रेफरल (आर एंड आर) अस्पताल में लाया गया.
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नई दिल्ली: पूर्व राष्ट्रपति प्रणब मुखर्जी की सेहत में अब भी कोई बदलाव नहीं हुआ है. विशेषज्ञों की टीम बारीकी से उनकी स्थिति पर नजर रख रही है. आर्मी रिसर्च एंड रेफरल हॉस्पिटल ने एक बयान में यह जानकारी दी है. बयान में कहा गया, "प्रणब मुखर्जी की मेडिकल कंडीशन में कोई बदलाव नहीं हुआ है. उनके क्लीनिकल पैरामीटर्स स्थिर हैं. वो अब भी वेंटिलेटर सपोर्ट पर हैं.
84 साल के पूर्व राष्ट्रपति को मस्तिष्क में खून का थक्का जमने के बाद एक जीवन रक्षक आपातकालीन सर्जरी की गई थी. इसके बाद उनका स्वास्थ्य खराब हो गया. उनका कोविड-19 परीक्षण भी पॉजिटिव आया था. 10 अगस्त को मुखर्जी ने ट्वीट किया था, "एक अलग प्रोसीजर के लिए अस्पताल आया हूं और मेरा कोविड-19 परीक्षण पॉजिटिव निकला है. पिछले हफ्ते मेरे संपर्क में आए लोगों से मैं अनुरोध करता हूं कि वे खुद को आइसोलेट करें और अपना कोविड-19 परीक्षण कराएं."
मुखर्जी के सिर पर 13 साल पहले लगी थी सड़क दुर्घटना में चोट 13 साल पहले एक कार दुर्घटना के बाद प्रणब मुखर्जी का इलाज करने वाले पश्चिम बंगाल में नदिया जिले के एक डॉक्टर ने बताया, 7 अप्रैल 2007 की रात एक ट्रक ने तत्कालीन वित्त मंत्री मुखर्जी की कार को टक्कर मार दी थी और उनके सिर में चोट आई थी. पहले उन्हें एक स्थानीय स्वास्थ्य केन्द्र ले जाया गया, जहां उनके सिर पर टांके लगाए गए और उन्हें कृशनगर के सरकारी अस्पताल में भेज दिया गया था.
पेशे से स्त्री रोग विशेषज्ञ और कृशनगर में एक नर्सिंग होम के मालिक डॉक्टर बासुदेव मंडल ने बताया, ‘‘लेकिन अस्पताल में सीटी स्कैन या एक्स-रे की सुविधा नहीं थी. मुझे जिला प्रशासन से फोन आया और उन्होंने कहा कि सभी तैयारियां रखें, मुखर्जी को मेरे नर्सिंग होम लाया जा रहा है. हालांकि, मुखर्जी को दर्द था, लेकिन वह बहुत शांत और सौम्य रहे. वह बहुत विनम्र थे. हमने जांच की और पता चला कि, कोई अंदरुनी चोट नहीं है. बाद में उसी रात उन्हें कोलकाता ले जाया गया.’’
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