गलवान घाटी: रक्षा मंत्री ने की CDS और तीनों सेनाध्यक्षों के साथ हाई लेवल मीटिंग, सेना को दी पूरी छूट- सूत्र
सूत्रों के मुताबिक भारतीय बलों को पूर्वी लद्दाख और अन्य सेक्टरों में चीन के किसी भी दुस्साहस का मुंह तोड़ जवाब देने के लिए पूरी तरह से तैयार रहने को कहा गया है.
नई दिल्ली: रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने चीफ ऑफ डिफेंस स्टाफ जनरल बिपिन रावत और तीनों सेनाओं के प्रमुखों के साथ लद्दाख में हालात पर उच्च स्तरीय बैठक की है. बैठक में सशस्त्र बलों को वास्तविक नियंत्रण रेखा पर चीन की सेना के किसी भी प्रकार के आक्रामक रवैए से निपटने के लिए पूरी स्वतंत्रता दी गई है. सूत्रों ने रक्षा मंत्री की समीक्षा बैठक के बाद यह जानकारी दी है.
सूत्रों के मुताबिक भारतीय बलों को पूर्वी लद्दाख और अन्य सेक्टरों में चीन के किसी भी दुस्साहस का मुंह तोड़ जवाब देने के लिए पूरी तरह से तैयार रहने को कहा गया है. शीर्ष सैन्य अधिकारियों को जमीनी सीमा, हवाई क्षेत्र और रणनीतिक समुद्री मार्गों में चीन की गतिविधियों पर कड़ी नजर रखने के निर्देश दिए गए हैं.
रूस के तीन दिवसीय दौरे पर जाएंगे राजनाथ सिंह
रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह मॉस्को में आयोजित विजय दिवस परेड में शिरकत के लिए सोमवार से रूस की तीन दिनों की यात्रा करेंगे. यह परेड द्वितीय विश्व युद्ध में जर्मनी पर सोवियत की जीत की 75वीं वर्षगांठ के उपलक्ष्य में आयोजित होगी. रक्षा मंत्री की यह यात्रा भारत और चीन के बीच बढ़ते सीमा गतिरोध के बीच हो रही है. खासकर पूर्वी लद्दाख की गलवान घाटी में 15 जून को 20 भारतीय जवानों के शहीद हो जाने के बाद यह यात्रा हो रही है.
भारतीय सैन्य दस्ता पहुंचा मॉस्को
परेड में शामिल होने के लिए 75 सदस्यीय भारतीय सैन्य दस्ता पहले ही मॉस्को पहुंच गया है. भारतीय मार्चिंग दस्ते का नेतृत्व गैलेंट सिख लाइट इंफैंट्री रेजिमेंट के मेजर रैंक के एक अधिकारी करेंगे. इस रेजिमेंट ने द्वितीय विश्व युद्ध में बहादुरी के साथ लड़ाई की थी और इसके नाम पर चार युद्ध सम्मान एवं दो सैन्य क्रॉस समेत अन्य वीरता पुरस्कार दर्ज हैं. भारतीय टीम चीन समेत कम से कम 11 देशों से भाग ले रहे सशस्त्र बलों के साथ इस परेड में हिस्सा लेगी.
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