(Source: ECI/ABP News/ABP Majha)
सीडीएस जनरल बिपिन रावत ने चेताया, बोले- चीन भारत पर कर सकता है साइबर हमला
सीडीएस जनरल बिपिन रावत ने कहा है कि चीन टेक्नॉलजी के मामले में काफी सक्षम है और वह भारत पर Cyber हमले कर सकता है. वहीं जनरल रावत ने ये भी कहा कि भारत भी चीन के साइबर हमलों से अपनी सुरक्षा सुनिश्चित करने के लिए अपने साइबर डिफेंस सिस्टम को मजबूत करने की कोशिश में जुटा हुआ है.
चीफ ऑफ डिफेंस स्टाफ जनरल (CDS) बिपिन रावत ने कहा कि चीन तकनीक के मामले में भारत से काफी आगे हैं. चीन, भारत के खिलाफ साइबर हमले करने में कहीं ज्यादा सक्षम भी है. जब तकनीक की बात आती है तो दोनों देशों के बीच क्षमता का अंतर है. हालांकि उन्होंने ये भी कहा कि भारत इस कमी को दूर करने की पूरी कोशिश में जुटा हुआ है.
चीन टेक्नॉलजी के मामले में भारत से आगे
विवेकानंद इंटरनेशनल फाउंडेशन के एक कार्यक्रम के दौरान अपने संबोधन में कहा कि, “हम इसे बात का आभास है कि चीन तकनीक के मामले में काफी सक्षम है और वह भारत पर साइबर हमले कर रहता है. इस कारण भारत भी चीन के साइबर अटैक से निपटने के लिए अपने साइबर डिफेंस सिस्टम को मजबूत करने की पूरी कोशिश में जुटा हुआ है. हमारी मिलिट्री की साइबर एजेंसियां इस बात को सुनिश्चित कर रही हैं कि अगर ऐसी कोई स्थिति आती भी है तो डाउनटाइम और साइबर अटैक का प्रभाव ज्यादा लंबा न रहे.”
साइबर रक्षा को सुनिश्चित करने के लिए विकसीत की जा रही नई प्रणाली
वहीं एक सवाल के जवाब में, उन्होंने कहा कि भारत और चीन के बीच साइबर डोमेन के क्षेत्र में "सबसे बड़ा अंतर" है, पड़ोसी देश को जोड़ने से नई तकनीकों पर वह बहुत अधिक धन का निवेश करने में सक्षम है.जनरल रावत ने कहा कि दोनों देशों के बीच वर्षों से एक "क्षमता अंतर" आया है और प्रौद्योगिकी के क्षेत्र में चीन भारत पर "लीड" करता है. उन्होंने कहा कि,"हम जानते हैं कि चीन हम पर साइबर हमले शुरू करने में सक्षम है और यह हमारे सिस्टम की एक बड़ी मात्रा को बाधित कर सकता है. हम एक ऐसी प्रणाली बनाने की कोशिश कर रहे हैं जो साइबर रक्षा को सुनिश्चित करेगा."
To ensure security there needs to be an institutionalised approach wherein properly designed institutions of national security with defined roles & responsibilities & a robust mechanism bring institutions together who'll be able to work in sync with each other:CDS Gen Bipin Rawat pic.twitter.com/PG0bTaAv1W
— ANI (@ANI) April 7, 2021
साइबर हमलों से निपटने के लिए फायरवॉल बनाना उद्देश्य
इसके साथ ही उन्होंने कहा कि, साइबर हमलों से निपटने के लिए फायरवॉल बनाना हमारा उद्देश्य है और इस मुद्दे से "गंभीर तरीके" से निपटा जा रहा है. सीडीएस ने कहा कि हर सर्विस की अपनी साइबर एजेंसी होती है ताकि यह सुनिश्चित किया जा सके कि वे साइबर हमले के अंतर्गत आते हैं, लेकिन साइबर हमले का प्रभाव और अधिक समय तक नहीं रहता है.
भारत की नेवी काफी आगे है
वहीं जनरल रावत ने कहा, "मैं बेहिचक ये कहूंगा कि नौसेना जिस तरह से तकनीक का इस्तेमाल कर रही है उसे देखते हुए कहा जा सकता है कि नेवी, सेना और वायु सेना की तुलना में बहुत आगे है. उन्होंने भारत की सेना के विकास का भी उल्लेख किया, और कहा कि देश को सुरक्षा समाधान के लिए पश्चिमी दुनिया को देखने के प्रलोभन से बाहर आना चाहिए, और इसकी बजाय, दुनिया को विविध चुनौतियों से निपटने में अपने विशाल अनुभव से सीखने के लिए कहना चाहिए.
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