Ghulam Nabi Azad Slams Congress: कांग्रेस (Congress) से इस्तीफा देने के बाद पहली बार मीडिया से मुखातिब हुए गुलाम नबी आजाद (Ghulam Nabi Azad) ने कांग्रेस नेताओं द्वारा लगाए जा रहे आरोपों का जवाब दिया और एक बार फिर राहुल गांधी (Rahul Gandhi) पर हमला बोला. एबीपी न्यूज (ABP News) से बात करते हुए आजाद ने कहा, ''कांग्रेस से तंग आ कर लोग दूसरी पार्टियों में जा रहे थे, उन्हें रोकने के लिए नई पार्टी बना रहा हूं. कहीं और क्यों जाना! विचारधारा वही रहेगी, नया घर बनाएंगे.'' 2024 लोकसभा चुनाव (2024 Lok Sabha Elections) के लिए विपक्षी दलों के साथ गठबंधन (Coalition with Opposition Parties) का सवाल टालते हुए आजाद ने कहा कि उसमें काफी समय है.


आरोपों पर पलटवार करते हुए आजाद ने कहा, ''370 हटाए जाने पर राहुल गांधी नहीं बोले, मैं और जी 23 के कपिल सिब्बल, शशि थरूर, मनीष तिवारी और आनंद शर्मा बोले.'' जयराम रमेश पर आरोप लगाते हुए आजाद ने कहा, ''वो सीएए, नकाब और कश्मीर जैसे मुस्लिमों से जुड़े मुद्दों पर बोलने से यह कह कर रोकते थे कि 'आप मुसलमान हैं'.


'कांग्रेस मुक्त भारत' को लेकर राहुल पर निशाना


आजाद ने कहा, ''मेरा रिमोट कंट्रोल मेरे पास है. जो मोदी के 'कांग्रेस मुक्त भारत' का एजेंडा पूरा कर रहे हैं वो मोदी से मिले हुए हैं.'' हालांकि, आजाद ने कहा कि वो कांग्रेस को शुभकामनाएं देते हैं. इससे पहले अपने बयान में आजाद ने अपने इस्तीफे की टाइमिंग का बचाव करते हुए कहा, ''सोनिया गांधी ने कल सीडब्ल्यूसी बैठक की अध्यक्षता की, यानी बीमार नहीं हैं, चेकअप के लिए गई हैं.''


दरअसल, कांग्रेस की तरफ से आजाद की मंशा पर सवाल उठाए जा रहे थे कि जब सोनिया गांधी बीमार थीं तब उन्होंने इस्तीफा दिया. कांग्रेस को कभी घर बताने और फिर इस्तीफा देने के सवाल पर आजाद बोले, ''घरवालों ने घर छोड़ने पर मजबूर किया. जब लगे कि पराया समझा जा रहा है तो अक्लमंद आदमी घर छोड़ कर निकल जाता है.'' राहुल गांधी पर बड़ा निशाना साधते हुए आजाद ने कहा, ''जो भाषण के बाद जाकर मोदी से गले लगते हैं, वो मोदी से मिले हुए हैं या मैं मिला हुआ हूं?''  जयराम रमेश पर हमला बोलते हुए आजाद ने कहा, ''वो खुद जांच करें कि उनका डीएनए किस पार्टी का है? सदन के अंदर बीजेपी वाले उन्हें पर्ची भेजते थे.''


मोदी की तारीफ 


आजाद ने कहा, ''मैं समझता था कि मोदी क्रूर आदमी है क्योंकि इसके बीवी बच्चे नहीं हैं लेकिन उन्होंने इंसानियत दिखाई.'' पीएम मोदी के आंसुओं को लेकर आतंकी वारदात से जुड़ी पुरानी घटना को दुहराते हुए आजाद ने कहा, ''उस घटना को याद कर हम भावुक हुए थे न कि एक दूसरे को लेकर लेकिन कांग्रेस के लोग जाहिल हैं जो अफवाह फैलाते हैं.''


आजाद ने कहा, ''मोदी बहाना है. जिस दिन से हमनें जी 23 की चिट्ठी लिखी उस दिन से हम खटक रहे थे. उस चिट्ठी के बाद कई बैठकें हुईं, सोनिया गांधी से मिलकर अपनी बात रखी लेकिन कोई सुझाव नहीं माना गया. जम्मू कश्मीर के बाद सबसे ज्यादा मुस्लिम आबादी केरल, असम और बंगाल में है लेकिन इन चुनावों के लिए स्टार कैंपेनर नहीं बनाया गया. जबकि मैं इंदिरा गांधी के जमाने से पार्टी का स्टार कैंपेनर रहा हूं. इन राज्यों का नतीजा सबके सामने है.''


कांग्रेस अध्यक्ष चुनाव पर यह बोले आजाद


कांग्रेस अध्यक्ष चुनाव पर सवाल उठाते हुए आजाद ने कहा, ''सदस्यता अभियान की जगह खानापूर्ति की गई है. सदस्यता अभियान नकली है. बैंक लुट गया, अब मैनेजर बदलने से क्या?'' सिंधिया, जितिन प्रसाद, आरपीएन सिंह, सुष्मिता देव, हार्दिक पटेल जैसे कांग्रेस छोड़ने वाले युवा नेताओं का हवाला देते हुए आजाद ने कहा, ''सबसे ज्यादा तो 'टीम राहुल' के नेता भागे हैं. हम तो इंदिरा, संजय, राजीव की टीम के हैं.'' राज्यसभा न मिलने के कारण इस्तीफा देने के आरोपों पर आजाद ने कहा कि उन्हें पद की परवाह नहीं है. उन्होंने कहा, ''जब मैं नेता विपक्ष था तब जी 23 की चिट्ठी लिखी.''


पार्टी क्यों बना रहे?


आजाद ने कहा, ''राष्ट्रीय पार्टी गठित करने के लिए उन्हें देश भर से फोन आ रहे हैं. मेरी विचाराधारा नहीं बदली. जिन्हें लगता है कि कांग्रेस का कुछ होने वाला नहीं है, वो एक विकल्प चाहते हैं लेकिन अभी उसमें समय है.'' 


जम्मू कश्मीर में बीजेपी से हाथ मिलाने के कयासों पर आजाद ने कहा, ''कांग्रेस में अनपढ़ों की जमात है. जिसको जम्मू कश्मीर की थोड़ी भी जानकारी है तो उसे पता होगा कि मैं बीजेपी का एक वोट नहीं बढ़ा सकता, न ही बीजेपी मेरा एक वोट बढ़ा सकती है.'' हालांकि, आजाद ने चुनाव बाद बीजेपी से गठबंधन के सवाल को टाल दिया.


आजाद ने कहा, ''जम्मू कश्मीर कांग्रेस के जिला स्तर के 99% नेता और विधायक स्तर के 80% मेरे साथ आ गए हैं. ये कांग्रेस छोड़ना चाहते थे. उन्हें विकल्प देने के लिए पार्टी बनाने का फैसला किया. कांग्रेस ने लोग जोड़ने वालों को नहीं, भागने वालों को हर जगह संगठन में रखा हुआ है.''


राहुल गांधी को बताया कंपाउंडर


राहुल गांधी का नाम लिए बिना तीखा हमला करते हुए आजाद ने कहा, ''वो कांग्रेस के लिए दुआ ही कर सकते हैं लेकिन कांग्रेस को उनकी दुआ नहीं दवा की जरूरत है, उसके लिए जो डॉक्टर है वो असल में कंपाउंडर है. जरूरत सुपर स्पेशलिस्ट डॉक्टर की है.''


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