लखनऊ: यूपी चुनाव से पहले पीएम नरेन्द्र मोदी गोरखपुर में एम्स का उद्घाटन करेंगे. पिछले चुनाव से पहले मोदी ने 2016 में इसका शिलान्यास किया था. यूपी के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने कहा कि उद्घाटन की तारीख़ जल्द ही तय कर ली जाएगी.


उन्होंने बताया कि इसके लिए प्रधानमंत्री का समय लिया जाएगा. एम्स के बन जाने से राज्य के पूर्वांचल में स्वास्थ्य सुविधाएं बेहतर हो जायेंगी. लोगों को बेहतर इलाज के लिए लखनऊ और वाराणसी के चक्कर नहीं लगाने पड़ेंगे.


एक हज़ार लोगों को डॉक्टर देखते हैं


बता दें, योगी ने आज वर्चूअल तरीक़े से एम्स के डॉक्टरों से बातचीत की. साथ ही ओर्थोपेडिक विभाग के कुछ मशीनों का उद्घाटन भी किया. गोरखपुर में एम्स में ओपीडी तो पिछले साल से ही शुरू हो गया है. डॉक्टर यहां मरीज़ों को देखते तो हैं लेकिन उन्हें अस्पताल में भर्ती नहीं किया जाता है. हर दिन क़रीब एक हज़ार लोगों को डॉक्टर देखते हैं.


कोरोना की दूसरी लहर को लेकर मचे कोहराम के बीच योगी की पहल पर एम्स में 30 बेड का कोविड अस्पताल भी शुरू हुआ था. तब सीएम योगी आदित्यनाथ ने खुद एम्स का दौरा किया था. योगी यहां आकर लगातार निर्माण कार्यों का निरीक्षण करते रहे हैं. योगी की पहल पर मोदी सरकार ने यहां एम्स बनाने का एलान किया था. तब योगी गोरखपुर के सांसद हुआ करते थे. गोरखपुर की एम्स यूपी का दूसरा एम्स होगा.


610 बेड वाला अस्पताल


उत्तर प्रदेश का पहला ऑल इंडिया इन्स्टिटूट ऑफ मेडिकल साइंस मतलब एम्स रायबरेली में बना है. रायबरेली कांग्रेस अध्यक्ष सोनिया गांधी का संसदीय क्षेत्र है. जब केंद्र में यूपीए की सरकार थी तब वहां एम्स बनाने का फ़ैसला हुआ था. 2018 में यहां ओपीडी शुरू हो गया था. जबकि इसी साल जुलाई महीने से यहां मरीज़ों की भर्ती शुरू हो गई है. यहां की एम्स 610 बेड वाला अस्पताल है.


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