Arif Mohammad Khan On UCC: केरल के गवर्नर और पूर्व केंद्रीय मंत्री आरिफ मोहम्मद खान (Arif Mohammad Khan) ने यूनिफॉर्म सिविल कोड (UCC) को लेकर एबीपी न्यूज़ से खास बातचीत की. उन्होंने कहा, "कुरान के हवाले से मुस्लिम पर्सनल लॉ बोर्ड (Muslim Personal Law Board) पर लानत है. मदनी की बातें इंसान को जानवर बनाने वाली हैं."
आरिफ मोहम्मद खान ने कहा, "इस्लामी कानून शरीयत बादशाहों की जरूरत पूरी करने के लिए बनाए गए हैं. यह भेदभाव करते हैं. 90 प्रतिशत इस्लामी कानूनों का कुरान से कोई लेना देना नहीं है."
तीन तलाक पर क्या बोले आरिफ मोहम्मद?
उन्होंने कहा, "मुस्लिम पर्सनल लॉ बोर्ड अपने आप को खुदा से कम नहीं समझता है. बादशाहों की जरूरत पूरी करने के लिए लिखे गए कानूनों को शरीयत का नाम दिया गया. 40 साल बाद पीढ़ियां पीएम मोदी को तीन तलाक खत्म करने के लिए याद करेंगी."
मदनी के बयान पर क्या बोले केरल के गवर्नर?
मौलाना अरशद मदनी के 'मर्द 80 साल तक बूढ़ा नहीं होता और उसे चौथी शादी का हक है' वाले बयान पर आरिफ मोहम्मद ने पलटवार करते हुए कहा कि ये इंसान को जानवर बना देने वाली बात है, इससे ज्यादा गैर इंसानी कुछ नहीं है.
मुस्लिम पर्सनल लॉ बोर्ड पर बरसे आरिफ
उन्होंने पूछा कि मुस्लिम पर्सनल लॉ बोर्ड क्या उन मुसलमानों को इस्लामी देशों से बाहर जाने को कहेगा जहां पर्सनल लॉ नही हैं? उन्होंने कहा, "कुरान कहता है कि जो अपने हाथ से कानून लिखकर उसे खुदा का कानून कहते हैं, उन पर लानत हैं."
आरिफ मोहम्मद खान का यह बयान ऐसे समय पर आया है जब पीएम मोदी की तरफ से यूसीसी (UCC) की वकालत किए जाने के बाद देश भर में इस मुद्दे पर बहस शुरू हो गई है. उन्होंने कहा, "आज जो लोग खुद को उलमा कहते हैं या इस्लामिक कानून का जानकार कहते हैं वो इंसानों के लिखे हुए कानूनों को उन्होंने नाम दे दिया शरियत या खुदा का कानून"
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