Gyanvapi Mosque Case: वाराणसी की ज्ञानवापी मस्जिद को लेकर लगातार विवाद जारी है और इस मामले पर रोज नया दावा किया जा रहा है. अब ज्ञानवापी मामले पर सुनवाई से पहले एक बड़ा विवाद सामने आया है. जिसमें मस्जिद की जमीन को लेकर घोटाले की बात कही गई है. जिससे इंतजामिया कमेटी पर कई गंभीर सवाल उठाए गए हैं. कमेटी पर ज्ञानवापी मस्जिद की 17 बिस्वा जमीन बेचने का आरोप लगाया गया है.
140 साल पुराना रिकॉर्ड
ज्ञानवापी मस्जिद की 140 साल पुराने खसरा की एक कॉपी सामने आई है, जिसे लेकर ये बड़ा दावा किया गया है. इस खसरे में मस्जिद की जमीन 31 बिस्वा बताई गई है. जबकि कोर्ट कमिश्नर के सर्वे में मस्जिद की जमीन सिर्फ 14 बिस्वा ही बताई गई. इसे लेकर अब कहा जा रहा है कि कमेटी की तरफ से आधी जमीन बेच दी गई. सुनवाई से ठीक पहले जमीन घोटाले का ये खुलासा काफी अहम साबित हो सकता है. फिलहाल इंतजामिया कमेटी की तरफ से इसे लेकर कोई भी सफाई सामने नहीं आई है.
जमीन को लेकर उठे कई सवाल
17 बिस्वा जमीन का कोई भी अता-पता नहीं है. सवाल उठ रहा है कि क्या कमेटी ने इस जमीन को बेच दिया? इस मामले में 140 पुराने दस्तावेज निकालने वाले मुख्तार अंसारी ने एबीपी न्यूज़ से बात करते हुए कहा कि, हमारा मकसद है कि ये बहुत ही पुरानी मस्जिद है और जब मुकदमा चालू हुआ तो हमें जानकारी मिली. इस पर कई तरह के दावे किए गए. हमने फिर दस्तावेज खंगालने शुरू किए. ये राजीनामा रेवेन्यू रिकॉर्ड से मिला है. इस पर जमीन ज्यादा दिखाई गई है, लेकिन अब काफी कम रह गई. हम इंतजामिया कमेटी से पूछना चाहते हैं कि वो जमीन कहां गई?
कोर्ट में अहम सुनवाई
ज्ञानवापी मामले पर कुछ ही देर में अहम सुनवाई होने जा रही है. वैदिक सनातन संघ की तरफ से ये याचिका दायर की गई है, जिस पर सुनवाई होगी. इस याचिका में मांग की गई है कि ज्ञानवापी मस्जिद में मुस्लिमों की एंट्री पर बैन लगाया जाए. साथ ही गुंबद तोड़ने के आदेश जारी करने की बात कही गई है.
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