Gyanvapi Mosque Case: वाराणसी की ज्ञानवापी मस्जिद में शिवलिंग है या फव्वारा? जानें किसके क्या हैं दावे
Gyanvapi Mosque Case: शिवलिंग को लेकर शुरू हुई चर्चा के बीच अब दोनों पक्ष एक दूसरे के सामने हैं. दोनों की तरफ से ही दावे को साबित करने की चुनौती दी गई है.
Gyanvapi Mosque Case: ज्ञानवापी मस्जिद में हुए सर्वे के बाद अब कई तरह के दावे सामने आ रहे हैं. सोशल मीडिया से लेकर सड़क तक, हर तरफ इसी की चर्चा है. सबसे बड़ा दावा ये किया गया है कि ज्ञानवापी मस्जिद में प्राचीन शिवलिंग पाया गया है, जिसकी तस्वीरें और वीडियो भी सामने आए हैं. लेकिन दूसरी तरफ मुस्लिम पक्ष का कहना है कि ये कोई शिवलिंग नहीं, बल्कि एक फव्वारा है. दोनों तरफ से ऐसे ही अलग-अलग दावे किए जा रहे हैं.
दावा साबित करने की चुनौती
शिवलिंग को लेकर शुरू हुई चर्चा के बीच अब दोनों पक्ष एक दूसरे के सामने हैं. दोनों की तरफ से ही दावे को साबित करने की चुनौती दी गई है. हिंदू पक्ष की तरफ से कहा गया है कि वजू खाने में मिले शिवलिंग को फव्वारा बताने वाले इसे साबित करके बताएं. हिंदू पक्ष के वकील विष्णु जैन ने अपना दावा साबित करने की चुनौती दी है. वहीं ज्ञानवापी मस्जिद प्रबंधन समिति ने इस चुनौती को स्वीकार किया है. उनकी तरफ से कहा गया है कि उन्हें फव्वारे को चलाकर दिखाने में कोई भी परेशानी नहीं है.
फव्वारे के जांच की मांग
हिंदू पक्ष की तरफ से कहा गया है कि, अगर वो पत्थर फव्वारे का है तो उसके नीचे पानी की व्यवस्था भी होनी चाहिए. शिवलिंग मिलने वाली जगह की जांच होनी चाहिए. साथ ही शिवलिंग के आकार को नापने की इजाजत मांगी गई है. उधर मुस्लिम पक्ष की तरफ से कहा गया कि अगर मौका दिया जाए तो वो फव्वारे के नीचे पाइप लगाकर पानी निकाल सकते हैं. पहले यहां सरकारी पाइप से पानी भरा जाता था, अब कुएं से जेट पंप लगाकर पानी भरा जाता है.
इसके अलावा वायरल वीडियो को लेकर भी बताया गया है कि ये वीडियो हौज की सफाई के दौरान का है. मस्जिद पक्ष की तरफ से कहा गया कि जिसे शिवलिंग कहा जा रहा है उस पर चार निशान बने हुए हैं, जिनसे फव्वारे का पानी आता था. उन्होंने बताया है कि हर 6 महीने में इस हौज की सफाई की जाती है.