Mansukh Mandaviya In Geneva: स्वास्थ्य मंत्री मनसुख मंडाविया ने जिनेवा में WHO को घेरा, कोरोना से मौत के आंकड़ों की रिपोर्ट का मुद्दा उठाया
Mansukh Mandaviya In Geneva: जिनेवा में विश्व स्वास्थ्य सभा के 75वें सत्र को संबोधित करते हुए स्वास्थ्य मंत्री मनसुख मंडाविया ने डब्ल्यूएचओ की भारत में कोरोना से मौत की रिपोर्ट का मुद्दा उठाया.
Mansukh Mandaviya In Geneva: केंद्रीय स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री डॉ. मनसुख मंडाविया ने विश्व स्वास्थ्य सभा के 75वें सत्र को डब्ल्यूएचओ मुख्यालय, जिनेवा में संबोधित किया. केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्री मनसुख मंडाविया ने कहा कि जैसा कि भारत के प्रधानमंत्री ने रेखांकित किया है, टीकों और दवाओं तक समान पहुंच को सक्षम करने के लिए एक लचीला वैश्विक आपूर्ति श्रृंखला बनाने की आवश्यकता है. टीकों और चिकित्सा विज्ञान के लिए डब्ल्यूएचओ की अनुमोदन प्रक्रिया को सुव्यवस्थित करने और अधिक लचीला वैश्विक स्वास्थ्य सुरक्षा वास्तुकला बनाने के लिए डब्ल्यूएचओ को मजबूत करने की आवश्यकता है.
इस दौरान उन्होंने डब्ल्यूएचओ की भारत में कोरोना से मौत की रिपोर्ट का मुद्दा उठाते हुए निराशा व्यक्त की. उन्होंने कहा कि भारत सभी कारणों से अधिक मृत्यु दर पर डब्ल्यूएचओ के हालिया बयान पर निराशा और चिंता व्यक्त करता है, जहां भारत के वैधानिक प्राधिकरण द्वारा प्रकाशित देश विशिष्ट प्रामाणिक डेटा की अवहेलना की गई है. भारत और अन्य देशों द्वारा व्यक्त की गई चिंता की अनदेखी करते हुए, जिस तरह से डब्ल्यूएचओ द्वारा सर्व-कारण अधिक मृत्यु दर पर रिपोर्ट तैयार और प्रकाशित की गई थी, उस पर भारत अपनी निराशा व्यक्त करना चाहता है.
India would like to express its disappointment over the manner in which the report by WHO on all-cause excess mortality was prepared and published ignoring the concerns expressed by 🇮🇳 & other countries over the methodology and sources of data. #WHA75 pic.twitter.com/2oODHWVlpm
— Dr Mansukh Mandaviya (@mansukhmandviya) May 23, 2022
क्या बोले स्वास्थ्य मंत्री?
मनसुख मंडाविया ने कहा कि केंद्रीय स्वास्थ्य और परिवार कल्याण परिषद, एक संवैधानिक निकाय जिसमें भारत के सभी राज्यों के स्वास्थ्य मंत्रियों का प्रतिनिधित्व है, ने एक सर्वसम्मत प्रस्ताव पारित किया जिसमें मुझे इस संबंध में उनकी सामूहिक निराशा और चिंता व्यक्त करने के लिए कहा गया. उन्होंने कहा कि भारत का मानना है कि शांति और स्वास्थ्य को जोड़ने वाली इस साल की थीम, सामयिक और प्रासंगिक है क्योंकि शांति के बिना कोई सतत विकास और सार्वभौमिक स्वास्थ्य और भलाई नहीं हो सकती.
क्या था डब्ल्यूएचओ की रिपोर्ट में
बता दें कि, डब्ल्यूएचओ ने हाल ही में प्रकाशित अपनी एक रिपोर्ट में दावा किया था कि भारत में 1 जनवरी, 2020 से 31 दिसंबर, 2021 के बीच कोविड-19 से 47 लाख मौतें हुई. जबकि, भारत सरकार के आंकड़े के मुताबिक इस दौरान देश में कोरोना वायरस संक्रमण की वजह से 5,20,000 मौतें हुई. भारत सरकार ने डब्ल्यूएचओ के आंकड़ों को खारिज किया था.
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