नई दिल्ली: हिंदुस्तान शिखर समागम के मंच पर उत्तर प्रदेश के पूर्व मुक्यमंत्री अखिलेश यादव आए. अखिलेश यादव ने इस दौरान कहा,'' यह कार्यक्रम 22 तारीख को है, इसलिए मैं आया हूं क्योंकि हमें साल 2022 में सरकार बनानी है. मैं दिल्ली की जनता को बधाई देता हूं कि उन्होंने नफरत और जहर फैलाने पर वोट नहीं दिया. विकास और दिल्ली को आगे ले जाने पर काम किया. मैं कहता था कि काम बोलता है दिल्ली में काम बोला है. और अब उत्तर प्रदेश में भी काम बोलेगा.''



CAA पर वो बोले, '' समाजवादी पार्टी फॉर्म ही नहीं भरेगा. हम नागरिकता कानून के खिलाफ है. हम ऐसे काम के पक्ष में नहीं जो समाज को बांटता हो. हमारी पार्टी आंदोलन कर रही है. देश में सबकी गिनती होनी चाहिए, आबादी के हिसाब के गिनती हो. जिस दिन जाति आधारित जनगणना हो जाएगी, हिंदू-मुस्लिम हो जाएगा.''






अखिलेश यादव ने कहा,'' हम काम पर बात करना चाहते हैं, बात इस पर होनी चाहिए कि सबसे पहले हाईवे कौन बना सकता है. प्रदेश में इतनी बड़ी बिजनेस कॉन्फ्रेंस हुई. प्रधानमंत्री जी आए, राष्ट्रपति जी आए लेकिन कितना विकास हुआ ये बताओ. एमओयू तो किसी के भी साथ कर सकते हैं. बीजेपी वाले सपा सरकार के काम को अपना बता रहे हैं. समाजवादी पूर्वांचल एक्सप्रेस वे से समाजवादी हटा दिया और उसे पूर्वांचल एक्सप्रेस वे कर दिया. हम समाजवादी पार्टी के लोग समझाते हैं लेकिन बीजेपी वाले बहकाते हैं.''



अखिलेश यादव ने कहा, ''हमारे मुख्यमंत्री जी खुद की जानकारी का मजाक बनवा रहे हैं. अभी उनकी किताब लॉन्च हुई, उसमें लिखा है कि सैफ्रॉन सोशलिस्ट. आप ऐसा लिखकर क्या कहना चाहते हैं ? सैफ्रॉन सोशलिस्ट कहना संविधान की प्रस्तावना के खिलाफ है. ऐसा करके मुख्यमंत्री जी संविधान की अवमानना कर रहे हैं. बीजेपी के लोग जैसी भाषा का इस्तेमाल कर रहे हैं ऐसी भाषा गलत है. कभी कहते हैं कि बदला लेंगे, कभी कहते हैं कि ठोंक देंगे. किसे ठोक देंगे ? हर कोई एक दूसरे ठोंक रहा है.''




जय श्रीराम नारे के विवाद पर अखिलेश यादव ने कहा, ''वो लड़का रोजगार मांगने आया था, मैंने तो उसे मारने से बुलाया. आप लोग जय श्री राम बोलते हैं सीता-राम क्यों नहीं बोलते हैं. हम ने काम को पकड़ा हुआ है. हमने ऐसा एक्सप्रेस वे बनाया कि जिस पर हर्कुलिस विमान उतर सकता है. योगी सरकार में जो शौचालय बने उनमें पानी तक नहीं आ रहा है.''