Amit Shah Meeting: जम्मू-कश्मीर में हाल के दिनों में हुए आतंकी हमलों के बाद सरकार एक्शन की तैयारी में जुट गई है. केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह रविवार (16 जून) को नॉर्थ ब्लॉक में केंद्रशासित प्रदेश में सुरक्षा हालात का जायजा लेने के लिए बैठक कर रहे हैं. वह आतंक-निरोधी अभियानों को तेज करने के लिए गाइडलाइंस भी देने वाले हैं. गृह मंत्री 29 जून से शुरू होने वाली वार्षिक अमरनाथ तीर्थयात्रा की तैयारियों की भी समीक्षा कर रहे हैं. इस बैठक में कई वरिष्ठ अधिकारी भी शामिल हुए हैं.
अमित शाह की हाई-लेवल मीटिंग ऐसे समय पर हो रही है, जब तीन दिन पहले ही प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने भी इसी तरह की एक बैठक की थी. इसमें उन्होंने तीर्थयात्रियों को ले जा रही बस पर जम्मू में हुए हमले सहित कई आतंकी घटनाओं के बाद अधिकारियों को निर्देश जारी किए थे. पीएम ने अधिकारियों से आतंकवाद विरोधी क्षमताओं की पूरी ताकत से तैनात करने को कहा. एक हफ्ते पहले जम्मू के रियासी जिले में श्रद्धालुओं से भरी बस पर आतंकियों ने हमला किया था, जिसमें 9 लोगों की मौत हो गई थी.
गृह मंत्री की हाई-लेवल मीटिंग में कौन-कौन शामिल है?
जम्मू-कश्मीर की सुरक्षा को लेकर हो रही बैठक में नेशनल सिक्योरिटी एडवाइजर अजित डोभाल, जम्मू-कश्मीर के उपराज्यपाल मनोज सिन्हा, सेना प्रमुख जनरल मनोज पांडे, अगले सेना प्रमुख के तौर पर नामित लेफ्टिनेंट जनरल उपेंद्र द्विवेदी, केंद्रीय गृह सचिव अजय भल्ला, खुफिया ब्यूरो के निदेशक तपन डेका, केंद्रीय रिजर्व पुलिस बल (सीआरपीएफ) के महानिदेशक अनीश दयाल सिंह, जम्मू-कश्मीर पुलिस के महानिदेशक आर आर स्वैन और अन्य शीर्ष सुरक्षा अधिकारियों के शामिल हुए हैं.
कश्मीर के मौजूदा हालात की अमित शाह को दी जाएगी जानकारी
बैठक को इसलिए अहम माना जा रहा है, क्योंकि सूत्रों का कहना है कि अमित शाह को जम्मू-कश्मीर में सुरक्षा स्थिति, अंतरराष्ट्रीय सीमा और नियंत्रण रेखा पर सुरक्षा बलों की तैनाती, घुसपैठ की कोशिश, आतंकवाद रोधी अभियानों के हालात और केंद्रशासित प्रदेश में सक्रिय दहशतगर्दों के बारे में बताए जाने की संभावना है. सूत्रों का कहना है कि प्रधानमंत्री मोदी के निर्देश के अनुरूप गृह मंत्री सुरक्षा एजेंसियों द्वारा की जाने वाली तत्काल कार्रवाई के बारे में वह व्यापक गाइडलाइंस भी देने वाले हैं.
कब से शुरू होने वाली है अमरनाथ यात्रा?
दक्षिण कश्मीर हिमालय में अमरनाथ गुफा मंदिर है, जिसके लिए वार्षिक तीर्थयात्रा की शुरुआत हो रही है. इस यात्रा की शुरुआत 29 जून से होने वाली है और ये 19 अगस्त तक जारी रहेगी. अमरनाथ के लिए तीर्थयात्री जम्मू कश्मीर में दो मार्गों-बालटाल और पहलगाम से यात्रा करते हैं. पिछले साल 4.28 लाख से अधिक लोगों ने गुफा मंदिर की यात्रा की और इस बार यह आंकड़ा पांच लाख तक पहुंच सकता है.
सभी तीर्थयात्रियों को आरएफआईडी कार्ड दिए जाने की संभावना है, ताकि उनकी वास्तविक स्थिति का पता लगाया जा सके और सभी को पांच लाख रुपये का बीमा कवर दिया जाएगा. तीर्थयात्रियों को ले जाने वाले प्रत्येक जानवर के लिए 50,000 रुपये का बीमा कवर भी होगा. उम्मीद है कि केंद्रीय गृह मंत्री बैठक में एयरपोर्ट और रेलवे स्टेशन से तीर्थयात्रा बेस कैंप तक मार्ग पर सुचारू व्यवस्था और सभी तीर्थयात्रियों की उचित सुरक्षा प्रदान करने पर जोर देंगे.
आतंकी हमलों से हिला जम्मू-कश्मीर
जम्मू-कश्मीर में पिछले चार दिनों में रियासी, कठुआ और डोडा जिलों में चार जगहों पर आतंकी हमलों को झेला है. इसमें 10 लोगों को जान गंवानी पड़ी है. रियासी में 9 तीर्थयात्रियों की मौत हुई, जबकि कठुआ में सीआरपीएफ का एक जवान शहीद हो गया. इन आतंकी हमलों में सुरक्षाकर्मियों समेत दर्जनों लोग घायल भी हुए हैं. कठुआ में सुरक्षाबलों और दहशतगर्दों के बीच हुए एनकाउंटर में दो आतंकी भी ढेर हुए हैं. ये दोनों आतंकी पाकिस्तान से आए थे.
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