जोधपुर: नाबालिग से रेप के मामले में आज अदालत ने आसाराम को उम्रकैद की सजा सुनाई है. इस सजा को सुनकर पीड़ता के पिता काफी खुश हैं. पीड़िता के पिता ने कहा कि इस सजा से दुराचारियों को संदेश जाएगा कि किसी की बेटी की इज्जत पर हाथ डालोगे तो बचोगे नहीं. इस सजा का  ऐलान होते ही  पीड़िता के पिता मीडिया के सामने आए और साथ देने  वालों को धन्यवाद दिया.


फैसले के बाद पीड़िता के पिता ने कहा, ‘‘हमें न्यायपालिका पर पूरा भरोसा था और हमें खुशी है कि न्याय मिला.’’ उन्होंने कहा कि परिवार लगातार दहशत में जी रहा था और इसका उनके व्यापार पर भी काफी असर पड़ा.


सजा के ऐलान के बाद पीड़िता के पिता ने कहा,''मुझे जान की परवाह नहीं. मुझे न्याय मिल चुका है. मर भी गया तो संतुष्टि होगी. मेरी बेटी ने भी सभी लोगों को धन्यावाद कहा है. न्यायपालिका और वकीलों को भी धन्यवाद कहा है. सब ईश्वर की कृपा है. इस दुराचारी को उम्रकैद मिल गई है यही हमारे लिेए मुआवजा है. ऐसे दो चार दुराचारियों को फांसी हो जाएगी तो आगे रेप की घटनाएं नहीं घटेंगी.''



बता दें कि पीड़िता ने आसाराम पर उसे जोधपुर के नजदीक मनाई इलाके में आश्रम में बुलाने और 15 अगस्त 2013 की रात उसके साथ रेप करने का आरोप लगाया था. उत्तर प्रदेश के शाहजहांपुर की रहने वाली पीड़िता मध्य प्रदेश के छिंदवाड़ा स्थित आसाराम के आश्रम में पढ़ाई कर रही थी.

आसाराम मामले में अंतिम सुनवाई अनुसूचित जाति/अनुसूचित जनजाति मामलों की विशेष अदालत में सात अप्रैल को पूरी हो गई थी और फैसला 25 अप्रैल तक के लिए सुरक्षित रखा गया था. आसाराम को इंदौर से गिरफ्तार कर एक सितंबर 2013 को जोधपुर लाया गया था और दो सितंबर 2013 से वह न्यायिक हिरासत में है.

आसाराम ने 12 बार जमानत याचिका दायर की, जिसे छह बार निचली अदालत ने, तीन बार राजस्थान हाईकोर्ट और तीन बार सुप्रीम कोर्ट ने खारिज किया.