देहरादून: देश कोरोना वायरस की महामारी से जूझ रहा है. इसीलिए इस साल IMA यानि इंडियन मिलिट्री अकादमी की पासिंग आउट परेड का अंदाज भी बिल्कुल बदल गया है. ऐसा पहली बार हुआ जब कैडेट्स ने पासिंग आउट परेड में मुंह पर मास्क लगाए परेड किया. इस बीच सोशल डिस्टेंसिंग का भी पूरा ध्यान रखा गया. कोरोना महामारी की वजह से कैडेट्स के परिजन भी परेड में शामिल नहीं हो सके.


देहरादून में आयोजित पासिंग आउट परेड के बाद आज भारतीय थल सेना में 333 कैडेट्स शामिल हुए. परेड में 9 मित्र देशों से 90 जेंटलमैन कैडेट्स समेत देश-विदेश के कुल 423 जेंटलमैन कैडेट्स ने हिस्सा लिया. सेना प्रमुख जनरल एमएम नरवाने ने परेड का निरीक्षण किया. कैडेट्स को भारतीय सेना की शपथ दिलाई.


उत्तर प्रदेश से इस बार भी सबसे ज्यादा 66 कैडेट्स पास आउट हुए. वहीं हरियाणा में 39 कैडेट्स और उत्तराखंड-बिहार से 31-31 कैडेट्स सेना में अफसर बने.


कोरोना ने बदला तौर-तरीका
कोरोना और लॉकडाउन ने कई तौर-तरीके बदल दिए हैं. भारतीय सेना में आम तौर पर पासिंग आउट परेड के बाद अफसरों को 15-20 दिन की छुट्टी दी जाती है. इसके बाद ड्यूटी पर भेजा जाता है. लेकिन इस बार पास आउट कैडेट्स को अफसर बनने के 24 घंटे के भीतर तैनाती दी जा रही है. इसका कारण ये है कि कोरोना के इस दौर में छुट्टी के बाद ट्रैवल करना सेफ नहीं है.


ऐसे ही आईएमए में ट्रेनिंग का तौर-तरीका भी बदल गया. ट्रेनिंग के दौरान कैडेट्स को बाहर निकलने पर हर वक्त मास्क लगाना और सैनिटाइजर साथ में रखना अनिवार्य कर दिया गया. इसके अलावा किसी भी चीज को टच करने पर पाबंदी लगा दी गई.


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