राजस्थान: आज जालोर में उस वक्त सनसनी फैल गई जब लोगों ने आसमान से तेज आवाज के साथ चमक के साथ किसी गिरती चीज को देखा. घटना सांचौर कस्बे में सुबह 7 बजे गायत्री कॉलेज के पास की है.


लोगों ने आसमान से उल्कापिंड गिरने का कयास लगाया. जिसके बाद प्रशासन को सूचना दी गई. प्रशासन की टीम जब मौके पर पहुंची तो उसे एक धातु का टुकड़ा मिला. काले रंग का धातु जैसा टुकड़ा जमीन में करीब 4-5 फीट की गहराई में धंसा हुआ था. जांच में इसके उल्कापिंड होने का खुलासा हुआ. इसका वजन 2.788 किलोग्राम मापा गया. जिस समय ये धातु का टुकड़ा मिला उसे काफी गर्म पाया गया.


उल्कापिंड के ठंडा होने पर पुलिस ने उसे कांच के एक जार में रखवा दिया है. चश्मदीदों का कहना है कि उन्होंने आसमान से तेज चमक के साथ एक टुकड़े को नीचे गिरते देखा. नीचे गिरने का साथ ही मौके पर धमाका हुआ. वहीं विशेषज्ञों का कहना है कि आकाश में कभी-कभी एक ओर से दूसरी ओर जाते हुए या पृथ्वी पर गिरते हुए पिंड दिखाई देता है. उन्हें उल्का और साधारण बोलचाल की भाषा में टूटता हुआ तारा कहा जाता है.


उल्काओं का जो अंश वायुमंडल में जलने से बचकर पृथ्वी तक पहुंचता है उसे उल्कापिंड कहते हैं. अक्सर रात में अनगिनत उल्काएं देखी जा सकती हैं लेकिन इनमें से पृथ्वी पर गिरने वाले पिंडों की संख्या बहुत कम होती है. खगोलीय विज्ञान के लिए ये उल्कापिंड बेहद महत्वपूर्ण माने जाते हैं. अति दुर्लभ होने के कारण आकाश में विभिन्न ग्रहों के संगठन और संरचना के संबंध में इससे जानकारी हासिल की जाती है.


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