जम्मू कश्मीर: उथल पुथल के बीच एयर इंडिया ने दी बड़ी राहत, श्रीनगर-दिल्ली रूट पर किराया घटाया
श्रीनगर में सरकारी अस्पताल में कर्मचारियों को बिना इजाजत के छुट्टी नहीं देने का आदेश जारी किया गया है. छात्रों को कश्मीर गवर्नमेंट पॉलिटेक्निक कॉलेज का हॉस्टल खाली करने का आदेश भी दिया गया है. कश्मीर के अचानक बदले हालात से डरा पाकिस्तान संयुक्त राष्ट्र पहुंच गया है. LOC पर ताजा स्थिति को लेकर पाकिस्तानी विदेश मंत्री ने लिखी चिट्ठी.
नई दिल्ली: नई दिल्ली: जम्मू कश्मीर में अचानक बदले हालात के बीच श्रीनगर जाने और आने वाली फ्लाइट के किरायों में भी बढ़ोतरी देखी जा रही है. एयरएशिया का आज का किराया 22,144 रुपये है. ऐसे में एयर इंडिया श्रीनगर से दिल्ली और दिल्ली के श्रीनगर जाने वाले यात्रियों के लिए राहत की बनकर उभरा है. एयर इंडिया ने इस रूट पर दिल्ली से श्रीनगर का किराया 6899 रुपये और श्रीनगर से दिल्ली का किराया 6715 रुपये तय कर दिया है. यह किराया 15 अगस्त तक लागू रहेगा.
इसका मतलब हुआ कि इस रूट पर फिलहा किराया इससे अधिक नहीं हो सकता. एयर इंडिया के इस कदम से यात्रियों को बड़ी राहत मिली है. एक ओर जहां एयर इंडिया ने आम आदमी को राहत दी है तो वहीं दूसरी ओर टिकट एजेंट के लिए झटका है. दरअसल दो दिन पहले तक एयर इंडिया के टिकट 18,587 रूपए तक थे. जिन टिकट दलालों इन्हें ख़रीद लिया और आज बेंचने की कोशिश करेंगे वो इसे तय कीमत से ज़्यादा में नहीं बेंच पाएंगे.
आज अगर मेक माई ट्रिप पर जाएँ तो वहां दिल्ली से श्रीनगर एयर इंडिया का किराया 18,587 रूपए दिखा रहा है क्योंकि एजेंट ने दो दिन पहले ही ये टिकट खरीदे हैं. एजेंट्स को यात्रियों का नाम बदलने का आपशन मिला होता है इसलिए वो कई दिन पहले ही टिकट ख़रीद लेते हैं.
जम्मू कश्मीर में स्थानीय नागरिकों से लेकर पर्यटक तक सभी परेशान दिख रहे हैं. पहले भारी तादाद में सुरक्षाबलों को कश्मीर भेजा गया और उसके बाद शुक्रवार को सरकार ने एक ऐसी एडवाजरी जारी कर दी जिससे लोगों की घबराहट और बढ़ गई. जम्मू-कश्मीर के प्रिंसिपल सेक्रटरी (होम) की तरफ से जारी सिक्यॉरिटी अडवाइजरी में अमरनाथ जाने वाले तीर्थयात्रियों और पर्यटकों से 'यात्रा की अवधि कम करने' और 'जल्द से जल्द लौटने' को कहा गया है. दलील दी गई कि ऐसा अमरनाथ यात्रियों पर आतंकी हमले की खुफिया जानकारी मिलने की वजह से किया गया है.
अमरनाथ यात्रा 15 अगस्त तक चलनी थी लेकिन जम्मू कश्मीर गृह विभाग की एडवायजरी के बाद सारे बेस कैंप खाली हो रहे हैं. किश्तवाड़ जिले में 43 दिन तक चलने वाले मचैल मठ यात्रा को भी निलंबित कर दिया गया है. जम्मू में प्रशासन ने अमरनाथ यात्रियों के लिए लगे लंगरों को अगले दो दिनों में समेटने को कहा है. इस आदेश के बाद लंगर वाले बोरिया बिस्तर समेटने में लगे हैं. अमरनाथ यात्री निवास परिसर में लगे एकलौते लंगर में भी सामान समेटने का काम शुरू हो गया है. एडवायजरी जारी होने के बाद पर्यटक भी अपनी यात्रा बीच में रोककर वापस लौट रहे हैं. श्रीनगर एयरपोर्ट पर ऐसे लोगों की भारी भीड़ हो गई है, जो वापसी की टिकट के लिए जद्दोजहद कर रहे हैं.
घाटी में फैले तनाव का असर छात्रों की पढ़ाई पर भी पड़ रहा है. एनआईटी श्रीनगर में पढ़ाई करने वाले बाहर के छात्रों को घर भेज दिया गया है. छात्रों का कहना है कि कॉलेज प्रशासन ने सुरक्षा के मद्देनजर ये फैसला लिया है. श्रीनगर की मशहूर डल झील में हाउस बोट में ठहरे विदेशी पर्यटकों को भी पुलिस वापस भेज रही है. पर्यटकों के वापस जाने से शिकारा और हाउस बोट संचालक गुस्से में हैं. इनका कहना है कि ऐसा पहले कभी नहीं हुआ, इससे हमारा व्यापार प्रभावित हो रहा है.
सरकार ने राज्य के सभी सरकारी अस्पतालों के कर्मचारियों को बिना अनुमति छुट्टी नहीं देने का आदेश भी जारी किया गया है. कश्मीर गवर्नमेंट पॉलिटेक्निक कॉलेज के छात्रों को तुरंत हॉस्टल खाली करने का आदेश दिया गया है. आदेश में कहा गया है कि अगले आदेश तक हॉस्टल की सुविधा छात्रों के लिए उपलब्ध नहीं रहेगी. इसी बीच राज्य सरकार ने कुपवाड़ा के अस्पताल में मेडिकल कंट्रोल रूम बनाने का आदेश दिया है.