भारत-चीन सीमा विवाद: थलसेना अध्यक्ष के बयान पर अधीर रंजन ने उठाए सवाल, बोले- 'बहुत सार्थक' बातचीत का क्या मतलब
अधीर रंजन चौधरी ने कहा कि पहले यथापूर्व स्थिति (स्टेटस क्यो) बहाल होने दीजिए, उसके बाद आर्मी चीफ 'बहुत सार्थक' वाला अपना बयान दे सकते हैं.
नई दिल्ली: थलसेना अध्यक्ष जनरल एम एम नरवणे के उस बयान पर कांग्रेस सांसद और लोकसभा में विपक्ष के नेता अधीर रंजन चौधरी ने सवाल उठाए हैं, जिसमें उन्होंने कहा था कि भारत-चीन सीमा विवाद पर दोनों पक्षों के बीच बातचीत बहुत सार्थक रही है. अधीर रंजन ने एक के बाद एक कई ट्वीट किए और कहा कि जब हमारी ज़मीन के एक बड़े हिस्से पर चीन ने गलत तरीके से कब्ज़ा जमाया हुआ है तो 'बहुत सार्थक' बातचीत का क्या मतलब है.
अधिर रंजन चौधरी ने एक के बाद एक तीन ट्वीट किए. उन्होंने लिखा, "भारतीय सेना चीन समेत किसी भी विदेशी घुसपैठ का जवाब देने में सक्षम है, लेकिन चीन के साथ डील करते वक्त शालीनता की कोई जगह नहीं."
उन्होंने अपने अगले ट्वीट में थलसेना प्रमुख के बयान पर सवाल उठाते हुए कहा, "आर्मी चीफ ने जब ये कहा कि भारत और चीन के बीच हुई सैन्य बातचीत बहुत सार्थक हुई, तब वो काफी संतुष्ट लगे. जब हमारी ज़मीन के एक बड़े हिस्से पर चीन ने गलत तरीके से कब्ज़ा जमाया हुआ है तो 'बहुत सार्थक' बातचीत का क्या मतलब है."
अधीर रंजन चौधरी ने अगले ट्वीट में कहा कि पहले यथापूर्व स्थिति (स्टेटस क्यो) बहाल होने दीजिए, उसके बाद आर्मी चीफ 'बहुत सार्थक' वाला अपना बयान दे सकते हैं. उन्होंने कहा कि हमारी बहादुर सेना हमारा गर्व है. सारा देश हमारी बहादुर सेना के साथ खड़ा है.
थलसेना प्रमुख ने क्या कहा था जनरल नरवणे भारतीय सैन्य अकादमी की पासिंग आउट परेड के मौके पर संवाददाताओं से कहा, "दोनों पक्ष चरणबद्ध तरीके से हट रहे हैं. हमने उत्तर से, गलवान नदी के क्षेत्र से इसकी शुरुआत की है. हमारी बहुत सार्थक बातचीत हुई. और जैसा कि मैंने कहा कि यह जारी रहेगी तथा आगे हालात सुधरेंगे."