(Source: ECI/ABP News/ABP Majha)
आज संसद में सुनाई देगी 'तवांग झड़प' की गूंज, पीएम मोदी से मांगा जा रहा जवाब, जानें क्या है कांग्रेस और ओवैसी की तैयारी
India-China Faceoff: भारतीय सेना के मुताबिक, पूर्वी लद्दाख में दोनों पक्षों के बीच करीब 30 महीने से जारी सीमा गतिरोध के बीच 9 दिसंबर को एलएसी पर यांग्त्से के पास झड़प हुई.
India China Clash: अरुणाचल प्रदेश के तवांग (Tawang) सेक्टर में वास्तविक नियंत्रण रेखा (LAC) के पास भारतीय और चीनी सैनिकों के बीच 9 दिसंबर को हुई झड़प का मामला काफी गरमा गया है. संसद के शीतकालीन सत्र के दौरान मंगलवार (13 दिसंबर) को यह मुद्दा गूंज सकता है. सत्र के दौरान हंगामे के आसार हैं. कांग्रेस (Congress) ने इसे गंभीर मसला बताते हुए केंद्र सरकार को घेरा है तो वहीं, एआईएमआईएम अध्यक्ष असदुद्दीन ओवैसी (Asaduddin Owaisi) ने भी नरेंद्र मोदी की सरकार पर देश को अंधेरे में रखने का आरोप लगाया है.
भारतीय थलसेना ने एक बयान में कहा है कि हमारे बहादुर सैनिकों ने चीनी सैनिकों का काफी दृढ़ता के साथ सामना किया. इस झड़प में दोनों पक्षों के कुछ जवान मामूली रूप से जख्मी हुए हैं.
कांग्रेस ने केंद्र सरकार को घेरा
कांग्रेस के वरिष्ठ नेता और पूर्व केंद्रीय मंत्री जयराम रमेश ने आरोप लगाते हुए कहा है कि मोदी सरकार अपनी सियासी छवि को बचाने के लिए मामले को दबाने की कोशिश कर रही है और देश को खतरे में डाल रही है. उन्होंने ट्वीट किया, "भारतीय सेना के शौर्य पर हमें गर्व है. सीमा पर चीन की हरकतें पूरी तरह से अस्वीकार्य हैं. पिछले दो साल से हम बार-बार सरकार को जगाने की कोशिश कर रहे हैं, लेकिन मोदी सरकार केवल अपनी राजनीतिक छवि को बचाने के लिए इस मामले को दबाने में लगी है. इससे चीन का दुस्साहस बढ़ता जा रहा है."
जयराम रमेश का सरकार पर हमला
कांग्रेस नेता जयराम रमेश ने लिखा, "देश से बड़ा कोई नहीं है, लेकिन मोदी जी अपनी छवि को बचाने के लिए देश को खतरे में डाल रहे हैं. उत्तरी लद्दाख में घुसपैठ स्थायी करने की कोशिश में चीन ने डेपसांग में LAC की सीमा में 15-18 किलोमीटर अंदर 200 स्थायी शेल्टर बना दिए, पर सरकार चुप रही. अब यह नया चिंताजनक मामला सामने आया है."
देश से बड़ा कोई नहीं है, लेकिन मोदी जी अपनी छवि को बचाने के लिए देश को ख़तरे में डाल रहे हैं।
— Jairam Ramesh (@Jairam_Ramesh) December 12, 2022
उत्तरी लद्दाख़ में घुसपैठ स्थायी करने की कोशिश में चीन ने डेपसांग में LAC की सीमा में 15-18 km अंदर 200 स्थायी शेल्टर बना दिए, पर सरकार चुप रही।अब यह नया चिंताजनक मामला सामने आया है। https://t.co/RgzMZLQlJw
देश को अंधेरे में रखने का आरोप
एआईएमआईएम के प्रमुख असदुद्दीन ओवैसी ने वास्तविक नियंत्रण रेखा पर भारतीय और चीनी सैनिकों के बीच झड़प की घटना को लेकर केंद्र सरकार पर हमला बोला है. उन्होंने कहा कि देश को अंधेरे में रखा जा रहा है. उन्होंने लिखा, "अरुणाचल प्रदेश से आ रही खबरें बेहद ही चिंताजनक हैं. भारत और चीन के सैनिकों के बीच झड़प हुई और सरकार ने देश को कई दिनों तक अंधेरे में रखा. जब शीतकालीन सत्र जारी है तो संसद को इस संबंध में क्यों नहीं बताया गया?"
संसद में स्थगन प्रस्ताव लाएंगे ओवैसी
ओवैसी ने आगे कहा, "सेना चीन को किसी भी समय मुंहतोड़ जवाब देने को तैयार है. मोदी की अगुवाई में ये कमजोर नेतृत्व ही है जिसकी वजह से भारत को चीन के सामने अपमानित होना पड़ रहा है. संसद में इस पर तत्काल चर्चा की जरूरत है. मैं इस मुद्दे पर संसद में स्थगन प्रस्ताव पेश करूंगा."
The army is capable of giving a fitting reply to the Chinese at any time. It is the weak political leadership under Modi which has led to this humiliation against China. This needs an urgent discussion in Parliament.I will be giving an Adjournment motion tomorrow on this issue.
— Asaduddin Owaisi (@asadowaisi) December 12, 2022
9 दिसंबर को हुई थी झड़प
भारतीय सेना (Indian Army) के मुताबिक, पूर्वी लद्दाख में दोनों पक्षों के बीच करीब 30 महीने से जारी सीमा गतिरोध के बीच 9 दिसंबर को संवेदनशील इलाके में एलएसी (LAC) पर यांग्त्से के पास झड़प हुई. भारतीय सेना ने कहा कि 9 दिसंबर को पीएलए (PLA) के सैनिक अरुणाचल प्रदेश (Arunachal Pradesh) के तवांग सेक्टर में घुस गए थे, जिसके बाद भारतीय जवानों ने भी जवाबी कार्रवाई की.
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