India-China: पूर्वी लद्दाख में विवाद सुलझाने के लिए भारत और चीन ने बढ़ाया कदम, जारी रहेगी चर्चा
India-China Meeting: एलएसी पर जारी तनाव के बीच भारत और चीन के सेना के अधिकारियों की लगातार बैठकें हो रही हैं. दोनों देशों के लिए यह एक अच्छा संकेत है.
India-China Tension: भारत और चीन में एलएसी (LAC) पर जारी तनाव के बीच एक सकारात्मक संकेत मिला है. दोनों देशों की सेनाएं डेमचोक और देपसांग मैदानों में लंबे समय से लंबित मुद्दों को हल करने के लिए 'मैराथन चर्चा' कर रही हैं.
डिफेंस इस्टैब्लिशमेंट के सूत्रों ने कहा कि पूर्वी लद्दाख में चल रहे गतिरोध को हल करने के लिए दौलत बेग ओल्डी और चुशुल में मेजर जनरल स्तर की बातचीत लंबित मुद्दों को हल करने के उद्देश्य से शुक्रवार (18 अगस्त) से रुक-रुक कर जारी है.
सीमा के मुद्दों पर बातचीत
दोनों पक्षों ने 2020 में चीनी आक्रमण के बाद से पूर्वी लद्दाख में सीमा मुद्दों को संबोधित करने के लिए अब तक 19 दौर की वार्ता की है. कोर कमांडर स्तर की बातचीत में चर्चा के बाद, भारतीय सेना और उनके चीनी समकक्ष मेजर जनरल स्तर की बातचीत कर रहे हैं.
किन मुद्दों पर हो रही बैठक
भारतीय पक्ष का प्रतिनिधित्व दो अलग-अलग स्थानों पर त्रिशूल डिवीजन कमांडर मेजर जनरल पीके मिश्रा और यूनिफॉर्म फोर्स कमांडर मेजर जनरल हरिहरन की तरफ से किया जा रहा है. बातचीत 13,14 अगस्त को चुशुल मोल्डो सीमा बैठक बिंदु पर दोनों पक्षों के बीच आयोजित कोर कमांडर-स्तरीय वार्ता के 19वें दौर के नतीजे पर आधारित है.
दोनों पक्ष डेपसांग मैदानों में गश्त फिर से शुरू करने और सीएनएन जंक्शन पर चीनी सैन्य उपस्थिति के मुद्दे सहित विरासत के मुद्दों को हल करने के बिंदुओं पर चर्चा कर रहे हैं. भारत और चीन पिछले 3 सालों से गतिरोध की स्थिति में हैं और सीमाओं पर तनाव के कारण सभी स्तरों पर संबंध खराब हो गए हैं.
50 हजार से ज्यादा सैनिकों की तैनाती
भारत और चीन ने वास्तविक नियंत्रण रेखा के पार पूर्वी लद्दाख सेक्टर में 50,000 से ज्यादा सैनिकों को तैनात किया है. राष्ट्रीय सुरक्षा सलाहकार अजीत डोभाल ने चीनी विदेश मंत्री वांग यी के साथ व्यापक बातचीत की थी और इसके बाद चार महीने के अंतराल के बाद केवल 19वें दौर की कोर कमांडर बातचीत हुई थी
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